ठाणे, 25 मई (भाषा) पांच सेकंड के ‘प्रलय’ में सब कुछ खत्म हो गया। ठाणे के कारखाने में विस्फोट के बारे में अवदेश कुमार ने संक्षेप में कुछ इसी तरह बयां किया। इस दुर्घटना में नौ लोगों की जान चली गई थी।
कुमार उस रासायनिक फैक्टरी में कामगार थे जहां बृहस्पतिवार को हुए विस्फोट में 60 से अधिक लोग घायल हो गए थे।
धातु के टुकड़े और मलबा सभी दिशाओं में उड़ने के कारण मची अफरा-तफरी और दहशत को याद करते हुए कुमार ने कहा, ”इसमें केवल पांच सेकंड लगे और सब कुछ ‘प्रलय’ की तरह खत्म हो गया।”
दुर्घटना में लगे घावों का इलाज कराने के बाद कुमार ने मीडिया से बात की।
महाराष्ट्र के ठाणे जिले के डोंबिवली एमआईडीसी क्षेत्र में स्थित अमुदान केमिकल्स में बृहस्पतिवार को बॉयलर फटने के बाद हुई तबाही के बारे में बताते हुए अवदेश कुमार ने कहा, “आसमान उड़ते हुए धातु के टुकड़ों और कांच से भर गया था। यह पूरी तरह से तबाही थी।”
फैक्टरी कर्मचारी ने कहा कि उसकी पीठ पर ‘पांच किलोग्राम वजनी लोहे का एंगिल’ गिरा जिससे उसे अत्यधिक रक्तस्राव और असहनीय दर्द का सामना करना पड़ा।
कुमार ने कहा कि अफरातफरी के बीच उसने अपने आस-पास के लोगों से मदद मांगी, लेकिन हर कोई सुरक्षा की तलाश में था।
उन्होंने बताया, ‘‘हर कोई इधर-उधर भाग रहा था और अपनी जान बचाने की कोशिश कर रहा था।’’
उन्होंने कहा कि शक्तिशाली विस्फोट से कारखाने में बड़े पैमाने पर तबाही हुई। उन्होंने कहा, ‘‘छत तथा ढांचा ढहने से सब कुछ तबाह हो गया, अब कुछ भी नहीं बचा है।’’
भाषा
शुभम संतोष
संतोष
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