जेल से रिहाई के बाद मुनव्वर फारुकी ने कहा, ‘मुझे न्यायपालिका पर पूरा भरोसा, इंसाफ की उम्मीद’
जेल से रिहाई के बाद मुनव्वर फारुकी ने कहा, 'मुझे न्यायपालिका पर पूरा भरोसा, इंसाफ की उम्मीद'
इंदौर (मप्र), सात फरवरी (भाषा) हिंदू देवी-देवताओं को लेकर कथित आपत्तिजनक टिप्पणियों के मामले में शीर्ष अदालत से बड़ी राहत मिलने के बाद यहां केंद्रीय जेल से रिहा होने वाले हास्य कलाकार मुनव्वर फारुकी ने देश की न्यायपालिका पर पूरा भरोसा जताया है। उन्होंने यह भी कहा है कि उन्हें न्याय की उम्मीद है।
न्यायिक हिरासत में 35 दिन गुजारने वाले फारुकी ने जेल से रिहाई के बाद एक संक्षिप्त वीडियो संदेश में कहा, ‘मैं (अपने खिलाफ दर्ज मामलों को लेकर) इस वक्त कोई भी टिप्पणी नहीं करना चाहूंगा। लेकिन मुझे हमारी न्यायपालिका पर पूरा भरोसा है और उम्मीद है कि मुझे न्याय मिलेगा।’
गौरतलब है कि उच्चतम न्यायालय ने शुक्रवार को पारित आदेश में फारुकी को इंदौर में दर्ज मामले में अंतरिम जमानत दे दी थी। इसके साथ ही धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाने के ही आरोप में उनके खिलाफ प्रयागराज में दर्ज मामले में वहां की एक निचली अदालत के जारी पेशी वॉरंट पर रोक भी लगा दी थी।
बहरहाल, शीर्ष अदालत से बड़ी राहत मिलने के बाद भी केंद्रीय जेल से 32 वर्षीय हास्य कलाकार की रिहाई की राह कतई आसान नहीं रही। वह पिछले 35 दिन से न्यायिक हिरासत के तहत इस जेल में बंद थे और उन्हें बेहद नाटकीय घटनाक्रम के दौरान शनिवार देर रात रिहा किया गया।
केंद्रीय जेल के अधीक्षक राकेश कुमार भांगरे ने रविवार को कहा कि इंदौर के एक मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट (सीजेएम) के फोन के बाद फारुकी के मामले में शीर्ष अदालत का शुक्रवार को पारित आदेश अदालत की वेबसाइट से निकालकर देखा गया और इसके आधार पर शनिवार देर रात युवा हास्य कलाकार को जेल से रिहा गया।
चश्मदीद लोगों ने बताया कि फारुकी की रिहाई की सूचना मिलते ही शनिवार देर रात जेल परिसर में मीडिया कर्मी भी जमा हो गए थे। लेकिन धार्मिक रूप से संवेदनशील मामले में गिरफ्तार हास्य कलाकार को इनकी नजर से बचाते हुए गुपचुप तरीके से जेल परिसर से बाहर निकाला गया।
सूत्रों ने बताया कि रिहाई के बाद फारुकी को एमजी रोड पर मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय की इंदौर पीठ के परिसर स्थित एड्वोकेट चैम्बर्स ले जाया गया। फिर एक अज्ञात स्थान के लिए रवाना कर दिया गया।
अधिकारियों ने बताया कि फारुकी की रिहाई से पहले पुलिस के आला अफसर शनिवार देर रात केंद्रीय जेल परिसर पहुंचे। इस दौरान पुलिस की विशेष शाखा के कर्मचारी इस परिसर में सादे कपड़ों में तैनात रहे और हालात का जायजा लेते रहे।
अधिकारियों के मुताबिक इंदौर की भाजपा विधायक मालिनी लक्ष्मण सिंह गौड़ के बेटे एकलव्य सिंह गौड़ ने फारुकी और एक हास्य कार्यक्रम के आयोजन से जुड़े चार अन्य लोगों के खिलाफ तुकोगंज पुलिस थाने में एक जनवरी की रात मामला दर्ज कराया था। विधायक पुत्र का आरोप है कि शहर के एक कैफे में एक जनवरी की शाम आयोजित इस कार्यक्रम में हिंदू देवी-देवताओं, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और गोधरा कांड को लेकर आपत्तिजनक टिप्पणियां की गई थीं।
हालांकि, फारुकी के स्थानीय वकील अंशुमान श्रीवास्तव दावा करते रहे हैं कि इन कथित टिप्पणियों को लेकर उनके मुवक्किल पर प्राथमिकी में लगाए गए आरोपों का इंदौर के कार्यक्रम से कोई लेना-देना नहीं है और उनकी पुरानी प्रस्तुतियों के विवादों को लेकर उनके खिलाफ राजनीतिक दबाव में स्थानीय स्तर पर मामला गढ़ा गया है।
इसके अलावा, प्रयागराज के जॉर्ज टाउन पुलिस थाने में पिछले साल दर्ज मामले में भी 32 वर्षीय हास्य कलाकार हिन्दू देवी-देवताओं पर आपत्तिजनक टिप्पणियों के आरोपों का सामना कर रहे हैं।
गौरतलब है कि इंदौर की जिला अदालत और इसके बाद मध्य प्रदेश उच्च न्यायालय ने स्थानीय पुलिस के दर्ज मामले में फारुकी की जमानत अर्जियां दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद खारिज कर दी थीं। इसके बाद हास्य कलाकार ने जमानत पर रिहाई के लिए उच्चतम न्यायालय की शरण ली थी।
भाषा हर्ष नेत्रपाल मानसी
मानसी

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