रायपुर। छत्तीसगढ़ के सीनियर आईपीएस केसी अग्रवाल को अनिवार्य सेवानिवृत्ति देने के केंद्र सरकार के आदेश को कैट ने रद्द कर दिया था। केंद्र सरकार ने इस फैसले के खिलाफ बिलासपुर हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी। जिसकी सुनवाई करते हुए गुरुवार को हाईकोर्ट ने कैट की बहाली आदेश पर रोक लगा दी है। सीनियर आईपीएस और तत्कालीन डीआईजी टेली कम्युनिकेशन केसी अग्रवाल के खिलाफ शिकायत की जांच के लिए केंद्र सरकार ने तत्कालीन मुख्य सचिव विवेक ढांड की अध्यक्षता में कमेटी बनाई थी।
कमेटी की जांच रिपोर्ट के आधार पर अगस्त 2017 में अनिवार्य सेवानिवृत्ति देने का निर्णय लिया गया था। अग्रवाल ने इसके खिलाफ केंद्रीय प्रशासनिक अधिकरण, जबलपुर में मामला प्रस्तुत किया था। अधिकरण ने अग्रवाल को राहत देते हुए जबरन रिटायर करने के आदेश को फरवरी 2018 में निरस्त कर दिया था। केंद्र सरकार ने अधिकरण के फैसले के खिलाफ हाईकोर्ट में याचिका प्रस्तुत की है।
केंद्र सरकार की तरफ से एडिशनल एडवोकेट जनरल बी गोपाकुमार ने तत्कालीन मुख्य सचिव की अध्यक्षता में हुई जांच की रिपोर्ट के आधार पर की गई कार्रवाई का हवाला देते हुए केंद्रीय प्रशासनिक अधिकरण के आदेश पर रोक लगाने की मांग की। गुरुवार को मामले पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने केंद्रीय प्रशासनिक अधिकरण के आदेश पर रोक लगा दी है।