राजधानी भोपाल में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट का रास्ता आखिरकार साफ हो गया है.. खुद को भोपाल नवाब का वंशज बताकर, वहां की बेशकीमती 104 एकड़ जमीन पर दावा करने वालों के पक्ष में 19 साल पहले दिया गया स्टे, जबलपुर हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया है.. स्टे खारिज होने के बाद भोपाल में स्मार्ट सिटी प्रोजेक्ट के रुके काम अब जल्द शुरू हो सकेंगे.. जिसके लिए सरकार 3 सौ करोड़ रुपए का फंड भी जारी कर चुकी है।
बता दें कि भोपाल के राशिद अहमद खां के वारिसों ने खुद को भोपाल नवाब, ओबेदुल्ला खान का वारिस बताकर 104 एकड़ जमीन को अपनी निजी भूमि बताया था.. इनके पक्ष में जबलपुर हाईकोर्ट ने साल 1997 में जमीन के अधिग्रहण पर स्टे दिया था जो अब तक बरकरार था.. और अब मामले पर सुनवाई करते हुए जबलपुर हाईकोर्ट ने पक्षकारों की ओर से मामला इतना लंबित रखने को न्यायिक प्रक्रिया का दुरुपयोग बताया और कहा कि किसी भी पब्लिक प्रोजेक्ट को प्रभावित करने वाले अंतरिम आदेश या रोक को इतने लंबे समय तक जारी नहीं रखा जा सकता.. इसी के साथ हाईकोर्ट ने राशिद खां के वारिसों को नवाब ओबेदुल्ला खां के रिश्तेदार मानने से इंकार कर दिया है और जमीन के स्वामित्व पर लगा स्टे खारिज कर दिया है।