मां ने नन्हें हाथों में चिट्ठी थमा बच्चों को रेलवे स्टेशन पर छोड़ा, जिसमें लिखा था- मैं मजबूर हूं | Mother left her two children at the railway station

मां ने नन्हें हाथों में चिट्ठी थमा बच्चों को रेलवे स्टेशन पर छोड़ा, जिसमें लिखा था- मैं मजबूर हूं

मां ने नन्हें हाथों में चिट्ठी थमा बच्चों को रेलवे स्टेशन पर छोड़ा, जिसमें लिखा था- मैं मजबूर हूं

:   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:07 PM IST, Published Date : December 4, 2018/10:38 am IST

कोरबा। रेलवे स्टेशन पर शाम के समय रोते बिलखते दो मासूम बच्चे और उनके हाथ में एक कागज का टुकड़ा लिखा मिला, जिस पर लिखा था जिनको यह दोनों बच्चे मिले इनको अनाथालय में छोड़ दें मैं मजबूर हूं। कोरबा जिले के कुसमुंडा थाना क्षेत्र में सोमवार रात रेलवे स्टेशन पर दो मासूम बच्चे रोते बिलखते मिले। लोगों ने इसकी सूचना तत्काल पुलिस को दी और जब पुलिस मौके पर पहुंची तो बच्चों के हाथ में एक कागज का छोटे सा टुकड़ा मिला जिसमें लिखा था एक मां की दिल दहला देने वाली बात।

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दरअसल इन दोनों बच्चों को उसकी ही मा ने रेलवे स्टेशन पर लाकर छोड़ दिया था और उनके हाथ में जो खत था उस पर लिखा था जिनको यह दोनों बच्चे मिले इनको अनाथालय में छोड़ दें मैं मजबूर हूं। दोनों बच्चों के लावारिस हालत में मिलने के बाद पुलिस ने इनके परिजनों की तलाश शुरू की पुलिस ने बच्चों से पूछताछ की तो उन्होंने अपना गांव का नाम हरदी बाजार बताया। पुलिस ने चाइल्डलाइन की मदद से बच्चों के मां-बाप की तलाश शुरू की और पुलिस की तलाश रंग भी लाई

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दरअसल सपना नाम की महिला ने नरेश सूर्यवंशी नाम के युवक से प्रेम विवाह किया था और दोनों बच्चे उन्हीं के थे मगर पिछले कुछ समय से पति पत्नी के बीच संबंध ठीक नहीं चल रहे थे और पति भी गाव चला गया था इस कारण महिला बच्चों को अपने पास रखने में असमर्थ थी इस कारण महिला ने बच्चों को स्टेशन पर छोड़कर उनके हाथ में अनाथालय छोड़ने की पर्ची थमा दी थी पुलिस ने दोनों बच्चों को महिला के सुपुर्द करते हुए उसे समझाइश भी दी है।

 
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