CM Mohan Yadav Exclusive Interview: ‘गिरवी रखना पड़ा था सोना…मध्यप्रदेश की ऐसी हो गई थी हालत’ सीएम मोहन ने बताया कैसी थी प्रदेश की हालत
CM Mohan Yadav Exclusive Interview: 'गिरवी रखना पड़ा था सोना...मध्यप्रदेश की ऐसी हो गई थी हालत' सीएम मोहन ने बताया कैसी थी प्रदेश की हालत
CM Mohan Yadav Exclusive Interview: 'गिरवी रखना पड़ा था सोना...मध्यप्रदेश की ऐसी हो गई थी हालत' / Image Source: IBC24
- स्टेट टॉपर बेटियों को 1 लाख रुपए का पुरस्कार
- जिला टॉपर बेटियों को 50-50 हजार रुपए का पुरस्कार
- "महिलाएं इंडस्ट्री लगाएं तो ब्याज में 2% की छूट और प्राथमिकता मिलेगी"
भोपाल: CM Mohan Yadav Exclusive Interview यदि एक आदमी शिक्षित होता है तो केवल एक व्यक्ति शिक्षित होता है, लेकिन जब एक बेटी शिक्षित होती है तो पूरी पीढ़ी शिक्षित होती है। कुछ इन्हीं भावों और विचारों के साथ मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ का नंबर वन न्यूज चैनल IBC24 हर वर्ष बोर्ड परीक्षा में उत्कृष्ट अंक अर्जित करने वाली बेटियों को स्वर्ण शारदा स्कॉलरशिप प्रदान करता है। स्वर्ण शारदा स्कॉलरशिप केवल एक स्कॉलरशिप ही नहीं हैं, बल्कि यह उन बेटियों के भविष्य के लिए अंशदान है, जो समाज और अन्य छात्रों के लिए प्रेरणा बने हैं। इस बार भी मध्य प्रदेश की 12वीं की बोर्ड परीक्षा में स्टेट टॉपर बेटी को 1 लाख रुपए, उनके स्कूल को 1 लाख रुपए और जिले में प्रथम आने वाली बेटियों को 50-50 हजार रुपए प्रदान किया गया। इस मौके पर खुद प्रदेश के मुखिया ने IBC 24 के मंच पर शिरकत की और टॉपर बेटियों को सम्मानित किया।
CM Mohan Yadav Exclusive Interview इस मौके पर प्रदेश के मुखिया सीएम मोहन यादव ने IBC24 के एडिटर इन चीफ रवि कांत मित्तल के सवालों का भी जवाब दिया। रवि कांत मित्तल ने पूछा कि मोदी का विजन…मोहन का मिशन…प्रदेश में विकास की इतनी तेज गति इस बात की कोशिश है कि प्रदेश की प्रतिभावान बेटियों को अपने राज्य में ही रोजगार मिले?
एडिटर इन चीफ रवि कांत मित्तल के सवालों का जवाब देते हुए सीएम मोहन यादव ने कहा कि निश्चित रूप से आप जो कह रहे हैं ऐसा ही हो, अभी जब सर्टिफिकेट बांट रहे थे तो आपने देखा कि मैं चुपचाप नहीं था। मैं हर एक बच्चे से पूछ रहा था कि आगे क्या करना चाहते हैं? तो 70 प्रतिशत बच्चे सीए बनना चाहते हैं। तो इन बच्चों को प्रदेश में काम तो मिलना चाहिए ना। इसलिए मैं इन्हें शुभकामनाएं दे रहा हूं।
उन्होंने आगे कहा कि 66 बच्चियों में से सिर्फ एक बेटी ने कहा कि मैं नेता बनना चाहती हूं, वहीं 12 बेटियों ने कहा कि वो आईएएस बनना चाहती हैं। एक ने कहा कि वो शिक्षक बनना चाहती है। एक ने कहा कि मैं प्रोफेसर बनना चाहती हूं। लेकिन किसी भी एक बेटी ने नहीं कहा कि वो उद्योगपति बनना चाहती है। 12 बच्चियों ने डॉक्टर बनने की इच्छा जाहिर की। सभी बेटियों को शुभकामनाएं।
सीएम मोहन यादव ने 12वीं बोर्ड की स्टेट टॉपर प्रियल द्विवेदी से हुई बातचीत का जिक्र करते हुए कहा कि प्रियल ने मुझे बताया कि उसने कुछ कठिनाइयां बताई है। मैंने पूछा कि कहां पढ़ना चाहते हो तो उसने बताया कि वो वीआईटी (Vellore Institute of Technology) में पढ़ना चाहती है, लेकिन कुछ समस्याओं के चलते जा नहीं पा रही है। इस पर सीएम मोहन यादव ने कहा कि प्रियल को चिंता करने की जरूरत नहीं है, हम उसका एडमिशन वीआईटी में करवा देंगे। जो भी प्रबंधन है हम करेंगे। प्रियल को मेरी ओर से शुभकामनाएं हैं
सवाल
मध्य प्रदेश में कृषि बहुत है और आपका फोकस भी रहा है, लेकिन आपका मिशन कृषि के साथ—साथ मेन्यूफेक्चरिंग की तरफ भी बढ़ाना चाहते हैं। इसके पीछे आपकी क्या सोच है?
जवाब
सीएम मोहन यादव ने इस सवाल के जवाब में कहा कि हमें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की सरकार की ओर देखना होगा। हमें देखना होगा कि हम जहां से निर्वाचित होकर आते हैं, आप देखिए दुनिया के अन्य देशों से भारत में किस बात की कमी है। आप बताओ अभी जिससे हमारी झंझट चल रही है, उसकी आबादी कितनी है? और हमारी आबादी कितनी है। इजराइल एक देश है, जिसकी आबादी 1 करोड़ भी नहीं है, लेकिन दुनिया के लिए एक आदर्श है। उसके दुश्मनों को वो आसमान में हो या पाताल में हो, या कहीं बाजार में झांकता हुआ या कोई खिड़की से झांकता हुआ तो वो सब पर नजर रखता है। वो टपकाने में विश्वास रखता है। दुश्मनों के खिलाफ अपने देश के नागरिकों को कर्तव्य बनता है।
सीएम मोहन यादव ने आगे बताया कि इजराइल जैसे देश में 7 इंच भी बारिश नहीं होती, लेकिन आप कृषि के क्षेत्र में ग्रोथ देखिए, क्या जबरदस्त है। इजराइल से हमें सीखने के जरूरत है। परमात्मा ने मध्य प्रदेश और देश को सब कुछ दिया है। सीएम यादव ने आगे कार्यक्रम में आई बेटियों को नसीहत देते हुए कहा कि मैं नेता बनने के लिए इसलिए कह रहा हूं कि हमारे बीच में से निर्मला सीतारमण, कैसी परिस्थिति से निकलकर वो आज देश की वित्त मंत्री बनी हैं। एक—एक पैसे का सदुपयोग इस देश के लिए कैसे हो सकता है और आज आंख में आंख डालकर बात करती है। अच्छे के लिए कोई परेशानी नहीं है, लेकिन व्यवस्था के खिलाफ जा रहा है तो चाहे अपने ही दल का हो या विरोधी दल का हो दोनों के लिए सामान निगाह से काम करने का इरादा है। मैं आप में से कई लोगों में निर्मला सीतारमण देख रहा हूं, आप में से कई लोगों को मौका मिलेगा।
सीएम यादव ने मध्य प्रदेश की पूर्ववर्ती सरकार का जिक्र करते हुए कहा कि 15 अगस्त 1947 को देश आजाद हुआ, इस दौर में मध्य प्रदेश आर्थिक रूप से 15वें नंबर पर था। लेकिन उलटा घूमते हुए नीचे से पांचवे नंबर पर आ गए थे। एक समय तो ऐसा आ गया था कि हमारा सोना गिरवी रखना पड़ गया था। कितनी लज्जाजनक घटना है ये। लेकिन वो दौर है और आज का दौर है। जो इस देश के गवर्नर रहे, वित्त मंत्री रहे, दो बार प्रधानमंत्री रहे, लेकिन जिस बात का प्रश्न प्रधानमंत्री राजीव गांधी ने उठाया था, कि मैं दिल्ली से 1 रुपए भेजता हूं, लेकिन गरीब आदमी के खाते में 25 पैसा पहुंच पाता है। ये दर्द उनके मन में था, लेकिन उन्हें कोई चैनल नहीं मिल रहा था। मैकेनिकल कोई सिस्टम नहीं बन पा रहा था कि उनके हक की चीजें उन तक पहुंचाएं।
उन्होंने आगे कहा कि देखो आनंद की बात एक फॉरेन डिग्री वाले, वित्त की डिग्री वाले को ये बात समझ नहीं आई कि जीरो बैलेंस में गरीबों का बैंक खाता खोल दो सीधे पैसा उनके खाते में जाएगा। ये बात चाय वाले को पता थी। इसमें कोई सीए नहीं लगा। जिसके हक का पैसा, वो खाते में चला जाएगा। इससे पहले बैंक वाले जीरो बैलेंस में खाता नहीं खोलते थे, पता नहीं क्या—क्या मांगते थे। ये मैंने सिर्फ एक उदाहरण दिया। तो नई तकनीक की भी जरूरत है और देश के साथ जुड़कर चलने की भी जरूरत है। इसलिए नरेंद्र मोदी के आने से पहले देश 10वें नंबर पर था और आज चौथे नंबर पर है, कल तीसरे नंबर पर पहुंचेगा। अब तो लड़ाई एक नंबर पर आने की चल रही है।
सवाल
आपने यूपीआई की बात की, यूपीआई एक ऐसी तकनीक है, जो हमारे देश में है और हम उसे दूसरे देशों को दे रहे हैं। एक बात आपने कही थी कि निशाना लगाता है इजराइल, लेकिन हमने देखा कि अभी हमारे देश ने अभी पाकिस्तान को धूल चटाई तो किस तरीके से देश में बने हथियार से हमने सारा काम किया। आप भी स्वदेशी के लिए काफी फोकस्ड हैं, आप चाहते हैं कि प्रदेश में देश में कुछ ऐसी चीज बनाएं और उसका उपयोग करें। विदेश से चीजें न खरीदें। इस पर आपके क्या विचार हैं?
जवाब
इस सवाल का जवाब देते हुए सीएम मोहन यादव ने कहा कि ”आज के समय में इसी बात के साथ दृढ़ता के साथ रहना है कि हमारा देश आत्मनिर्भर बने, हमारे देश की जितनी भी उपभोक्ता सामग्री है वो यहीं पर ही बने। हमारे देश का एक पैसा भी कोई विदेश के लोगों के लिए जब तक की जरूरी न हो ना जाए। हम इस दौर में पहुंच गए हैं, जब बौद्धिक क्षमता, सभी प्रकार की व्यवस्था हमारे खुद के पास है। भारत के पास वो सब कुछ है। सीएम यादव ने आगे कहा कि हमें लंबे समय तक अपने मूल अतीत से जोड़ने के बजाए डराने का प्रयास हुआ। आज परमात्मा ने हमको ये मौका दिया है कि हमको 10 साल के कार्यकाल पूरा करने तक चौथे नंबर से तीसरे नंबर पर पहुंचेंगे तो आने वाले अमृत काल के 2047 तक का टारगेट है। मैं बताना चाहूंगा कि मध्य प्रदेश का ट्रैक रिकार्ड ऐसा रहा कि 2002—03 तक प्रति व्यक्ति आय मात्र 11000 रुपए था। हमारी ये चौथी सरकार है, आज प्रति व्यक्ति आय 1 लाख 52 हजार रुपए है। ये हमारे लिए सौभाग्य की बात है। 1952 में जब मध्य प्रदेश बना तो केवल 7 लाख हेक्टेयर सिंचाई का रकबा था, जबकि 247 से ज्यादा नदियां मध्य प्रदेश से जल पूरे देश में पहुंचाती है। जब हमारी सरकार बनी तो 44 लाख हेक्टेयर सिंचाई का रकबा हुआ।” उन्होंने 56 साल में 7.50 हेक्टेयर किया। जबकि हमने मात्र 1.5 साल में 44 लाख हेक्टेयर तक पहुंचा दिया।”
उन्होंने आगे बताया कि बहनों अगर आप इंडस्ट्रीज़ लगाते हैं तो आपको कई प्रकार की रियायतें हैं। अगर पुरुष के बजाए महिलाएं इंडस्ट्रीज़ लगाती हैं तो उन्हें ब्याज दर में 2 प्रतिशत कम लेंगे, हम आपको प्राथमिकता देने वाले हैं। आप कई लोगों को रोजगार देने वाले हैं

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