Akhilesh Yadav Controversial Poster: अखिलेश यादव की तुलना डॉ बीआर अम्बेडकर से.. भड़की BSP चीफ मायावती, सख्त लहजे में दी ये चेतावनी

जैसे-जैसे यह विवाद और गहराता जा रहा है, राजनीतिक हलकों में बयानबाज़ियों का दौर तेज़ हो गया है। अब सबकी निगाहें सपा की अगली प्रतिक्रिया और बसपा की संभावित कार्रवाई पर टिकी हैं।

Akhilesh Yadav Controversial Poster: अखिलेश यादव की तुलना डॉ बीआर अम्बेडकर से.. भड़की BSP चीफ मायावती, सख्त लहजे में दी ये चेतावनी

Akhilesh Yadav compared to Dr. Ambedkar || Image posted on X by Hindutva Knight

Modified Date: April 30, 2025 / 03:46 pm IST
Published Date: April 30, 2025 3:42 pm IST
HIGHLIGHTS
  • अखिलेश-अंबेडकर तुलना पर मायावती ने तीखी आपत्ति जताई, अपमान बताया।
  • तुलनात्मक पोस्टर नहीं हटे तो सड़कों पर उतरने की धमकी दी।
  • भाजपा और बसपा दोनों ने सपा के पोस्टर को अपमानजनक करार दिया।

Akhilesh Yadav compared to Dr. Ambedkar: लखनऊ: समाजवादी पार्टी (सपा) द्वारा अपने कार्यालय के बाहर लगाए गए एक पोस्टर में अध्यक्ष अखिलेश यादव की तुलना संविधान निर्माता डॉ. भीमराव अंबेडकर से किए जाने पर सियासी बवाल खड़ा हो गया है। बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की प्रमुख मायावती ने इस पर तीखी प्रतिक्रिया दी है और इसे अंबेडकर की विरासत का अपमान बताया है।

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मायावती ने एक्स (पूर्व ट्विटर) पर पोस्ट करते हुए सपा की इस हरकत को न केवल राजनीतिक रूप से अनुचित करार दिया, बल्कि चेतावनी दी कि यदि ऐसे पोस्टर लगाने की प्रवृत्ति नहीं रुकी, तो बसपा सड़कों पर उतरने को मजबूर होगी।

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Akhilesh Yadav compared to Dr. Ambedkar: उन्होंने लिखा, “डॉ. अंबेडकर का किसी से भी तुलनात्मक चित्रण करना उनका अपमान है। सपा और कांग्रेस को यह विशेष रूप से समझना चाहिए। यदि ऐसा दोहराया गया तो बसपा जनता के साथ मिलकर व्यापक विरोध दर्ज कराएगी।”

पहलगाम हमले पर भी प्रतिक्रिया

मायावती ने हाल ही में जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले को लेकर राजनीतिक दलों द्वारा की जा रही बयानबाजी की भी आलोचना की। उन्होंने सभी पार्टियों से इस हमले के संबंध में सरकार की कार्रवाई का समर्थन करने और “गंदी पोस्टर राजनीति” से बचने की अपील की। उन्होंने कहा, “ऐसे गंभीर मसलों पर देश को एकजुट होकर प्रतिक्रिया देनी चाहिए। बयानबाजी और पोस्टरबाज़ी से सिर्फ जनता में भ्रम फैलता है, जो देशहित में नहीं है।”

Akhilesh Yadav compared to Dr. Ambedkar: बसपा नेता सुधींद्र भदौरिया ने भी मायावती की भावना को दोहराते हुए सपा के पोस्टर को “अशोभनीय और निंदनीय” बताया। उन्होंने कहा, “निर्दोष लोगों की जान गई है, ऐसे वक्त में इस मुद्दे का राजनीतिकरण करना अत्यंत दुर्भाग्यपूर्ण है। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव का ऐसा पोस्टर लगाना, जिसमें वे डॉ. अंबेडकर के समकक्ष दिखाए गए हैं, पूरे देश की भावनाओं को आहत करता है।”

भदौरिया ने आगे कहा कि यहां तक कि समाजवादी विचारक डॉ. राम मनोहर लोहिया ने भी स्वीकार किया था कि डॉ. अंबेडकर जैसा कोई दूसरा नेता भारत में नहीं हुआ। ऐसे में अखिलेश यादव को अपने इस कृत्य के लिए सार्वजनिक रूप से माफी मांगनी चाहिए।

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विवाद के बढ़ते प्रभाव को देखते हुए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) भी सक्रिय हो गई है। लखनऊ में भाजपा कार्यकर्ताओं ने समाजवादी पार्टी के खिलाफ प्रदर्शन किया। भाजपा सांसद बृजलाल ने आरोप लगाया कि अखिलेश यादव ने अंबेडकर के साथ अपना चेहरा मिलाकर एक साझा पोस्टर तैयार किया है, जो साफ तौर पर अपमानजनक है। उन्होंने कहा, “यह केवल डॉ. अंबेडकर ही नहीं, बल्कि उस पूरे दलित समाज का भी अपमान है, जो उन्हें अपना मसीहा मानता है।”

जैसे-जैसे यह विवाद और गहराता जा रहा है, राजनीतिक हलकों में बयानबाज़ियों का दौर तेज़ हो गया है। अब सबकी निगाहें सपा की अगली प्रतिक्रिया और बसपा की संभावित कार्रवाई पर टिकी हैं।


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