#SarkarOnIBC24: टूट गई ट्रंप-मस्क की जोड़ी.. ‘बिग ब्यूटीफुल बिल’ ने डाली ‘दरार’! आखिर क्या है अमेरिकी राष्ट्रपति का फ्यूचर प्लान?
टूट गई ट्रंप-मस्क की जोड़ी.. 'बिग ब्यूटीफुल बिल' ने डाली 'दरार'! Trump-Musk duo broke up... 'Big Beautiful Bill' created a rift
नई दिल्लीः डोनाल्ड ट्रंप ने जब से अमेरिकी राष्ट्रपति का पद संभाला है। एलन मस्क छाया की तरह ट्रंप के साथ खड़े नजर आए है। ट्रंप के बाद अमेरिकी प्रशासन में सबसे ज्यादा सुर्खियां मस्क ने ही बटोरी है, लेकिन अब शायद आपको ये जोड़ी एक साथ मंच पर नजर नहीं आए। दरअसल बिजनेसमैन एलन मस्क का राजनीति से मोहभंग हो गया है और मस्क ने इससे दूरी बना ली हैं। हम ऐसा क्यों कह रहे हैं और क्या है ट्रंप का फ्यूचर प्लान जानने के लिए पढ़े पूरी खबर..
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप और दुनिया के सबसे अमीर शख्स एलन मस्क की मशहूर जोड़ी टूट गई है। मस्क ने ट्रंप प्रशासन में DOGE यानी डिपार्टमेंट ऑफ गवर्नमेंट एफिशिएंसी के प्रमुख के पद से इस्तीफा दे दिया है। एलन मस्क ने अपने X अकाउंट पर इसकी जानकारी देते हुए लिखा कि ट्रंप प्रशासन में विशेष सरकारी कर्मचारी के रूप में मेरा निर्धारित कार्यकाल समाप्त हो रहा है, मैं राष्ट्रपति ट्रंप को सरकार की फिजूलखर्ची कम करने का मौका देने के लिए धन्यवाद देता हूं। समय के साथ DOGE मिशन और मजबूत होगा क्योंकि ये सरकार में जीवन का एक तरीका बन जाएगा। डोनाल्ड ट्रंप को राष्ट्रपति बनाने में एलन मस्क ने बड़ी भूमिका निभाई थी। ट्रंप के साथ ना केवल बड़ी-बड़ी चुनावी रैलियां की थी। बल्कि पैसा भी पानी की तरह बहाया था.. एक अनुमान के मुताबिक ट्रंप के चुनावी कैंपेन में मस्क ने 250 मिलियन डॉलर खर्च किए थे। वहीं जब ट्रंप राष्ट्रपति बने तो मस्क को इसका इनाम भी मिला.. एक नए विभाग DOGE का गठन किया गया, जिसका प्रमुख एलन मस्क को बनाया इस विभाग का काम सरकार की फिजूलखर्ची कम करना था। ट्रंप सार्वजनिक रूप से कई बार मस्क की DOGE प्रमुख के रूप में तारीफ भी कर चुके थे।
साफ है कि एलन मस्क डोनाल्ड ट्रंप के खास थे। DOGE प्रमुख के रुप में मस्क का कार्यकाल 30 मई 2025 को खत्म हो रहा था। ट्रंप ने मस्क का कार्यकाल नहीं बढ़ाया वहीं मस्क ने भी अपना टेन्योर पूरा होने से एक दिन पहले ही इस्तीफा दे दिया। जानकार ट्रंप और मस्क के बीच तल्खी के कई कारण गिना रहे हैं। दरअसल एलन मस्क ट्रंप के ‘बिग ब्यूटीफुल बिल’ के खिलाफ थे। मस्क ने कहा था कि DOGE का काम खर्चों में कटौती करना है जबकि ये बिल उसके खिलाफ है। ट्रंप के ‘बिग ब्यूटीफुल बिल’ में टैक्स कटौती को बढ़ाने का प्रस्ताव है… इनकम टैक्स और एस्टेट टैक्स में 2017 में की गई कटौती को स्थायी बनाने का प्रावधान है..ओवरटाइम, और सोशल सिक्योरिटी इनकम पर भी टैक्स कटौती का प्रस्ताव है। सालाना 30 से 80 हजार डॉलर की कमाई वालों को 15% टैक्स छूट का प्रावधान है। अवैध इमिग्रेशन रोकने बॉर्डर सिक्योरिटी और अमेरिकी सेना पर ज्यादा खर्च का प्रस्ताव है। सरकारी कर्ज की सीमा बढ़ाने का प्रावधान है।
‘बिग ब्यूटीफुल बिल’ ही नहीं बल्कि मस्क के DOGE प्रमुख का पद छोड़ने के पीछे और भी कई कारण थे। मस्क के कामकाज के खिलाफ लोगों का गुस्सा बढ़ रहा था। मस्क ने कई सरकारी विभागों की फंडिंग और नौकरियों में कटौती कर दी थी। जिसके चलते हजारों लोगों की नौकरी चली गई थी। मस्क के खिलाफ हजारों लोगों ने प्रदर्शन किए थे। वहीं मस्क की इलेक्ट्रिक कारों को जलाने की भी कई घटनाएं सामने आ चुकी थी। USAID की फंडिंग रोकेने में भी मस्क का हाथ बताया जाता है। मस्क अपने बिजनेस पर ध्यान नहीं दे पा रहे थे। मस्क की नेटवर्थ गिरती जा रही थी। मस्क के इस्तीफे की इसे भी वजह माना जा रहा है। बहरहाल ट्रंप और मस्क अब शायद एक साथ नजर ना आए लेकिन मस्क एक बात जरुर समझ गए होंगे की राजनीति और बिजनेस एक दूसरे से बिलकुल अलग चीज हैं और ये साथ-साथ नहीं चल सकते।

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