कोल इंडिया 5,650 करोड़ रुपये के निवेश से 3,000 मेगावाट क्षमता की सौर ऊर्जा परियोजनाएं लगाएगी

कोल इंडिया 5,650 करोड़ रुपये के निवेश से 3,000 मेगावाट क्षमता की सौर ऊर्जा परियोजनाएं लगाएगी

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  • Publish Date - November 23, 2020 / 12:46 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:58 PM IST

नयी दिल्ली, 23 नवंबर (भाषा) सार्वजनिक क्षेत्र की कोल इंडिया ने सोमवार को कहा कि उसकी 2023-24 तक छत और धरातल पर 14 सौर परियोजनाओं के जरिये 3,000 मेगावाट बिजली उत्पादन की क्षमाता स्थापित करने की योजना है। इसमें 5,650 करोड़ रुपये निवेश अनुमानित है।

कोल इंडिया ने शेयर बाजार को दी सूचना में कहा कि कोयला मंत्रालय ने शुद्ध रूप से शून्य कार्बन उत्सर्जन वाली कंपनी बनने की जम्मेदारी कोल इंडिया को दी है। सौर ऊर्जा के क्षेत्र में पहल कोल इंडिया की विभिन्न क्षेत्रों में जाने की योजना का हिस्सा है।

कंपनी के अनुसार इसमें करीब 5,650 करोड़ रुपये निवेश अनुमानित है।

कोल इंडिया ने कहा कि कुल व्यय में से 3,650 करोड़ रुपये कंपनी के पूंजी व्यय से जबकि शेष राशि संयुक्त उद्यम मॉडल के जरिये जुटायी जाएगी। इस पहल के लिये कंपनी की योजना संयुक्त उद्यम के जरिये कदम बढ़ाने की है।

कोल इंडिया और एनएलसी इंडिया लि. ने अपने प्रयासों को संयुक्त रूप से अमल में लाने के लिये सयुक्त उद्यम इकाई ‘कोल लिग्नाइट ऊर्जा विकास प्राइवेट लि.’ बनायी है। इसका मकसद 1,000 मेगावाट क्षमता की सौर बिजली परियोजनाएं स्थापित करना है।

कोल इंडिया ने सार्वजनिक क्षेत्र की एनटीपीसी के साथ भी संयुक्त उद्यम बनाने को लेकर समझौता किया है। साथ ही कंपनी ने सोलर एनर्जी कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के साथ 1,000-1,000 मेगावाट क्षमता की सौर परियोजनाओं के लिये समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर हस्ताक्षर किये हैं। इस पर दोनों कंपनियां अलग-अलग काम कर रही हैं।

कोल इंडिया को सौर परियोजनाओं पर काम करने से उसे अपने बिजली खपत पर होने वाली बड़ी राशि में भी बचत होगी। कंपनी ने 2019-20 में बिजली खपत के लिये करीब 3,400 करोड़ रुपये का खर्च किया। यह कंपनी के राजस्व व्यय का करीब 4.4 प्रतिशत है। अगर कंपनी बिजली बिल में कमी लाती है तो इससे उसका लाभ बढ़ेगा।

भाषा

रमण मनोहर

मनोहर