कोरोना इफेक्ट: रियल एस्टेट में कमजोर बिक्री से जाएंगी 2 लाख लोगों की नौकरी, 60 हजार की पहले हो चुकी है छंटनी

कोरोना इफेक्ट: रियल एस्टेट में कमजोर बिक्री से जाएंगी 2 लाख लोगों की नौकरी, 60 हजार की पहले हो चुकी है छंटनी

कोरोना इफेक्ट: रियल एस्टेट में कमजोर बिक्री से जाएंगी 2 लाख लोगों की नौकरी, 60 हजार की पहले हो चुकी है छंटनी
Modified Date: November 29, 2022 / 08:05 pm IST
Published Date: June 29, 2020 11:15 am IST

नईदिल्ली। लॉकडाउन के कारण कमजोर बिक्री के चलते रियल स्टेट कंपनियों से कर्मचारियों के छंटनी का दौर जारी है। बिक्री में सुस्ती अभी और कुछ महीनों तक बनी रहेगी इसलिए कंपनियां लगातार लागत कम करने के उपायों पर जोर दे रहीं है। रियल एस्टेट क्षेत्र नोटबंदी, रियल एस्टेट नियमन अधिनियम (रेरा), माल एवं सेवा कर (जीएसटी) जैसी नई व्यवस्थाओं को लागू करने से उत्पन्न रुकावटों तथा मंजूरियां मिलने में देरी के कारण पहले ही पिछले तीन-चार साल से दिक्कतों से जूझ रहा है।

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उद्योग जगत के अनुमानों के मुताबिक रियल एस्टेट क्षेत्र में 60-70 लाख लोग कार्यरत हैं, जिनमें तीन लाख सफेदपोश कर्मचारी भी शामिल हैं। एक अनुमान के अनुसार, रियल एस्टेट क्षेत्र में लगभग दो लाख कर्मचारियों को कोरोनो वायरस संकट के कारण निकाला जा सकता है। उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में अब तक 60 हजार से अधिक लोगों को निकाला जा चुका है।

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एक परामर्श प्रदान करने वाली कंपनी के मुताबिक ”इस क्षेत्र की बिक्री पर एक बड़ा प्रभाव पड़ रहा है और यह कंपनियों की लाभप्रदता को सीधे प्रभावित करेगा। अब लंबित भुगतानों में चूक की भी आशंकाएं हैं। उन्होंने कहा, ”पहले से ही ज्यादातर डेवलपर्स नकदी की कमी का सामना कर रहे हैं और इसलिए वे अब लागत कम करने पर ध्यान दे रहे हैं। वे इसके लिए छंटनी कर रहे हैं, अपने ऑफिस बंद कर रहे हैं।

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नॉन-ब्रोकिंग रियल एस्टेट शोध कंपनी लियसेस फोरास की एक रिपोर्ट में कहा गया है कि लॉकडाउन के प्रत्येक महीने में राजस्व का 8.3 प्रतिशत का नुकसान हुआ है। रिपोर्ट में कहा गया है कि जून के अंत तक, आवासीय अचल संपत्ति बाजार में राजस्व का नुकसान 26.58 प्रतिशत पर रहेगा, जो जुलाई अंत तक बढ़कर 35.07 प्रतिशत तक हो जायेगा।


लेखक के बारे में

डॉ.अनिल शुक्ला, 2019 से CG-MP के प्रतिष्ठित न्यूज चैनल IBC24 के डिजिटल ​डिपार्टमेंट में Senior Associate Producer हैं। 2024 में महात्मा गांधी ग्रामोदय विश्वविद्यालय से Journalism and Mass Communication विषय में Ph.D अवॉर्ड हो चुके हैं। महात्मा गांधी अंतरराष्ट्रीय हिंदी विश्वविद्यालय वर्धा से M.Phil और कुशाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता एवं जनसंचार विश्वविद्यालय, रायपुर से M.sc (EM) में पोस्ट ग्रेजुएशन किया। जहां प्रावीण्य सूची में प्रथम आने के लिए तिब्बती धर्मगुरू दलाई लामा के हाथों गोल्ड मेडल प्राप्त किया। इन्होंने गुरूघासीदास विश्वविद्यालय बिलासपुर से हिंदी साहित्य में एम.ए किया। इनके अलावा PGDJMC और PGDRD एक वर्षीय डिप्लोमा कोर्स भी किया। डॉ.अनिल शुक्ला ने मीडिया एवं जनसंचार से संबंधित दर्जन भर से अधिक कार्यशाला, सेमीनार, मीडिया संगो​ष्ठी में सहभागिता की। इनके तमाम प्रतिष्ठित पत्र पत्रिकाओं में लेख और शोध पत्र प्रकाशित हैं। डॉ.अनिल शुक्ला को रिपोर्टर, एंकर और कंटेट राइटर के बतौर मीडिया के क्षेत्र में काम करने का 15 वर्ष से अधिक का अनुभव है। इस पर मेल आईडी पर संपर्क करें anilshuklamedia@gmail.com