न्यायालय ने स्पाइसजेट को कलानिधि मारन, कंपनी को 243 करोड़ रुपये देने के आदेश पर लगायी रोक

न्यायालय ने स्पाइसजेट को कलानिधि मारन, कंपनी को 243 करोड़ रुपये देने के आदेश पर लगायी रोक

न्यायालय ने स्पाइसजेट को कलानिधि मारन, कंपनी को 243 करोड़ रुपये देने के आदेश पर लगायी रोक
Modified Date: November 29, 2022 / 07:58 pm IST
Published Date: November 7, 2020 4:19 pm IST

नयी दिल्ली, सात नवंबर (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने नकदी संकट से जूझ रही स्पाइस जेट को कलानिधि मारन और उनकी कंपनी केएएल एयरलाइंस को 243 करोड़ रुपये भुगतान करने के दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेश पर रोक लगा दी है।

यह मामला दोनों पक्षों के बीच शेयर हस्तांतरण पर ब्याज के भुगतान से जुड़ा है।

मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति एस. ए. बोबड़े और न्यायमूर्ति ए. एस. बोपन्ना एवं वी. रामासुब्रहमण्यम की पीठ ने दिल्ली उच्च न्यायालय के दो सितंबर के आदेश पर रोक लगा दी। साथ ही इस आदेश के खिलाफ स्पाइसजेट की याचिका पर कलानिधि मारन और उनकी कंपनी को नोटिस भी जारी किया। यह सुनवाई वीडियो कॉन्फ्रेंस के माध्यम से हुई।

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कंपनी और मारन को इस नोटिस पर चार हफ्ते के भीतर जवाब देना है।

दिल्ली उच्च न्यायालय ने स्पाइसजेट और उसके प्रवर्तक अजय सिंह को 579 करोड़ रुपये पर 243 करोड़ रुपये का ब्याज जमा कराने का आदेश दिया था। दिल्ली की अदालत ने यह फैसला शेयर हस्तांतरण विवाद में एक मध्यस्थता अदालत के 2018 के आदेश के तहत यह राशि जमा कराने का आदेश दिया था।

भाषा शरद मनोहर

मनोहर


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