धानुका ने संयुक्त शोध के लिए महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय-करनाल से करार किया

धानुका ने संयुक्त शोध के लिए महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय-करनाल से करार किया

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  • Publish Date - February 22, 2022 / 03:35 PM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:51 PM IST

नयी दिल्ली, 22 फरवरी (भाषा) कृषि-रसायन कंपनी धानुका समूह ने मंगलवार को महाराणा प्रताप बागवानी विश्वविद्यालय (एमएचयू), करनाल के साथ संयुक्त रूप से फसल सुरक्षा रसायनों के बारे में अनुसंधान करने और कृषि क्षेत्र में आधुनिक प्रौद्योगिकी को बढ़ावा देने के लिए एक समझौते पर हस्ताक्षर किए।

धानुका समूह ने एक बयान में कहा कि समझौता ज्ञापन (एमओयू) पर धानुका एग्रीटेक के शोध एवं विकास विभाग के उपाध्यक्ष और प्रमुख ए एस तोमर और एमएचयू के कुलपति प्रोफेसर समर सिंह ने हस्ताक्षर किये।

समझौता ज्ञापन के उद्देश्यों में संयुक्त रूप से फसल सुरक्षा रसायनों के क्षेत्र में अनुसंधान गतिविधियों का संचालन करना और कृषि विस्तार सेवाओं को चलाने के लिए जागरूकता कार्यक्रम आयोजित करना शामिल है।

इसके तहत किसानों को विशेषज्ञ सलाह प्रदान करने के लिए कृत्रिम मेधा (एआई) और मशीन लर्निंग प्रौद्योगिकी के उपयोग को भी बढ़ावा दिया जाएगा। साथ ही इसके तहत खेती में ड्रोन तकनीक के इस्तेमाल पर जोर रहेगा।

इस भागीदारी के माध्यम से धानुका समूह और विश्वविद्यालय का उद्देश्य फसल उत्पादकता और उत्पादन को बढ़ाकर किसानों की आय को बढ़ाना है।

तोमर ने कहा, ‘‘कृषि के क्षेत्र में और अधिक शोध एवं विकास करने की जरूरत है और एमएचयू जैसी संस्था के साथ गठजोड़ से हमें कृषि और संबद्ध गतिविधियों में अनुसंधान गतिविधियों को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी।’’

धानुका एग्रीटेक भारत की अग्रणी पौध संरक्षण कंपनियों में से एक है और बीएसई और एनएसई में सूचीबद्ध है। इसकी तीन विनिर्माण इकाइयां गुजरात, राजस्थान और जम्मू-कश्मीर में हैं।

कंपनी का दिसंबर, 2021 में समाप्त तिमाही का एकीकृत शुद्ध लाभ छह प्रतिशत बढ़कर 42.51 करोड़ रुपये रहा है। पिछले साल की समान अवधि में कंपनी का शुद्ध मुनाफा 40.04 करोड़ रुपये रहा था।

चालू वित्त वर्ष की तीसरी तिमाही में कंपनी की कुल आय बढ़कर 363.58 करोड़ रुपये हो गई, जो पिछले वर्ष की इसी अवधि में 305.04 करोड़ रुपये थी।

भाषा राजेश राजेश अजय

अजय