नयी दिल्ली, 25 अप्रैल (भाषा) घोटाले से प्रभावित जेनसोल इंजीनियरिंग को इलेक्ट्रिक वाहन खरीदने के लिए ऋण देने वाले दो सार्वजनिक क्षेत्र के ऋणदाताओं में से एक इरेडा ने शुक्रवार को कहा कि कंपनी (जेनसोल) के प्रवर्तकों ने उनकी मंजूरी के बिना शेयरधारिता कम करके अनुबंध का उल्लंघन किया है।
भारतीय अक्षय ऊर्जा विकास संस्था लिमिटेड (इरेडा) ने कहा कि उसने 24 अप्रैल को अनुबंध उल्लंघन के लिए आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) में शिकायत दर्ज कराई है।
इरेडा ने शेयर बाजार को दी सूचना में कहा, “जेनसोल इंजीनियरिंग लिमिटेड और इसके प्रवर्तकों और सहयोगी कंपनियों से संबंधित हालिया घटनाक्रमों के बाद इरेडा ने आरबीआई (भारतीय रिजर्व बैंक) के दिशानिर्देशों और कंपनी के उचित परिश्रम प्रोटोकॉल के अनुसार एक आंतरिक समीक्षा शुरू की है।”
जेनसोल का कर्ज खाता वर्तमान में फंसा है, लेकिन इसे एनपीए (गैर-निष्पादित संपत्ति) के रूप में वर्गीकृत नहीं किया गया है।
उन्होंने कहा कि इरेडा की जांच और जोखिम समितियां मामले की बारीकी से जांच कर रही हैं। समीक्षा के परिणाम के आधार पर वसूली के संबंध में उचित कार्रवाई की जाएगी।
जेनसोल को फर्जी दस्तावेजों के आधार पर क्रेडिट रेटिंग एजेंसियों से संचार करने के बारे में इरेडा ने कहा कि उसने वे पत्र जारी नहीं किए, जिनका उन्होंने उल्लेख किया है।
भाषा अनुराग पाण्डेय
पाण्डेय
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