एनएफसीएसएफ की सरकार से चीनी का न्यूनतम बिक्री मूल्य बढ़ाकर 42 रुपये किलो करने की मांग

एनएफसीएसएफ की सरकार से चीनी का न्यूनतम बिक्री मूल्य बढ़ाकर 42 रुपये किलो करने की मांग

एनएफसीएसएफ की सरकार से चीनी का न्यूनतम बिक्री मूल्य बढ़ाकर 42 रुपये किलो करने की मांग
Modified Date: June 14, 2024 / 10:26 pm IST
Published Date: June 14, 2024 10:26 pm IST

नयी दिल्ली, 14 जून (भाषा) राष्ट्रीय सहकारी चीनी कारखाना महासंघ (एनएफसीएसएफ) ने शुक्रवार को सरकार से चीनी का न्यूनतम विक्रय मूल्य बढ़ाकर कम से कम 42 रुपये प्रति किलोग्राम करने का आग्रह किया, ताकि बढ़ती उत्पादन लागत के बीच मिलों को परिचालन जारी रखने में मदद मिल सके।

न्यूनतम बिक्री मूल्य वर्ष 2019 से 31 रुपये प्रति किलोग्राम पर अपरिवर्तित रखा गया है, जबकि सरकार ने हर साल गन्ना उत्पादकों को दिए जाने वाले उचित और लाभकारी मूल्य (एफआरपी) में वृद्धि की है।

एनएफसीएसएफ के अध्यक्ष हर्षवर्धन पाटिल ने एक बयान में कहा कि महासंघ ने खाद्य मंत्रालय के अधिकारियों को आंकड़े सौंपे हैं, जिसमें चीनी उत्पादन लागत में लगातार वृद्धि दिखाई दे रही है, जिससे न्यूनतम विक्रय मूल्य को गन्ने के एफआरपी के साथ तालमेल बिठाना आवश्यक हो गया है।

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पाटिल ने कहा, ‘‘यदि चीनी का न्यूनतम विक्रय मूल्य बढ़ाकर 42 रुपये प्रति किलोग्राम कर दिया जाता है, तो चीनी उद्योग लाभप्रद हो सकता है।’’ उन्होंने उम्मीद जताई कि यह कदम सरकार के 100-दिवसीय एजेंडे का हिस्सा होगा।

उन्होंने कहा कि एनएफसीएसएफ और राष्ट्रीय सहकारी विकास निगम संयुक्त रूप से अक्टूबर 2024 से शुरू होने वाले आगामी सत्र से सहकारी मिलों को उनकी पेराई क्षमता के आधार पर गन्ना कटाई मशीनें उपलब्ध कराने की योजना पर काम कर रहे हैं।

बयान में कहा गया है कि हाल ही में पुणे में केंद्रीय खाद्य एवं सहकारिता मंत्रालयों के अधिकारियों के साथ एक संयुक्त बैठक में भी इन चिंताओं पर चर्चा की गई।

भाषा राजेश राजेश पाण्डेय

पाण्डेय


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