Case Filed Against Electricity Theft Update : अब बिजली चोरी के सबूतों के बिना उपभोक्ताओं पर नहीं होगा मुकदमा दर्ज, जारी हुआ ये नया नियम

Case Filed Against Electricity Theft Update: सर्विस केबल के कटने और मीटर की बॉडी टूटने को बिजली चोरी का साक्ष्य नहीं माना जाएगा।

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  • Publish Date - April 29, 2024 / 02:26 PM IST,
    Updated On - April 29, 2024 / 02:26 PM IST

Case Filed Against Electricity Theft Update : आज हम देखते हैं कि बिजली उपभोक्ताओं पर रीडिंग से ज्यादा बिल आने के केस सामने आते है। तो वहीं बिजली की चोरी जैसी खबरें भी सामने आती है। अभी तक ऐसा होता था कि बिजली विभाग आशंका के आधार पर उपभोक्ताओं पर मुकदमा दर्ज कर देते थे लेकिन अब ऐसा नहीं होगा। बिजली विभाग आशंका के आधार पर उपभोक्ता के ख़िलाफ़ मुकदमा दर्ज़ नहीं कर पाएंगे। वहीं अब सर्विस केबल के कटने और मीटर की बॉडी टूटने को बिजली चोरी का साक्ष्य नहीं माना जाएगा।

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बता दें कि चेकिंग के दौरान यदि किसी उपभोक्ता के परिसर की सर्विस केबल कटी है या फिर मीटर की बॉडी टूटी मिलना बिजली चोरी के साक्ष्य नहीं है। ऐसे मामलों में लेसा कर्मचारी पुरानी सर्विस केबल को बदलकर आर्मर्ड केबल के माध्यम से नये मीटर को परिसर के बाहर स्थापित करेंगे। साथ ही अगले तीन माह के बिजली उपभोग की तुलना पिछले वर्ष सामान महीनों के उपभोग से करके असिस्मेंट बिल बनाएंगे।

 

नवविकसित क्षेत्रों में बिजली कनेक्शन के लिए अब किसी से एनओसी की जरूरत नहीं होगी। विभाग आवेदक को परिसर से निकट की लाइन से एक्सटेंशन के लिए न्यूनतम एस्टीमेट पर कनेक्शन देगा। मध्यांचल विद्युत निगम के एमडी भवानी सिंह ने गत शनिवार को मुख्य अभियंताओं (वितरण) के लिए आदेश जारी किया है। बिजली चेकिंग के नाम पर लेसा अब उपभोक्ताओं का शोषण नहीं कर सकेगा।

 

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