दूरसंचार विभाग के अधिकारी ने कहा, 5जी स्पेक्ट्रम का आरक्षित मूल्य कम हो

दूरसंचार विभाग के अधिकारी ने कहा, 5जी स्पेक्ट्रम का आरक्षित मूल्य कम हो

दूरसंचार विभाग के अधिकारी ने कहा, 5जी स्पेक्ट्रम का आरक्षित मूल्य कम हो
Modified Date: November 29, 2022 / 08:37 pm IST
Published Date: December 9, 2020 12:03 pm IST

नयी दिल्ली, नौ दिसंबर (भाषा) दूरसंचार विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने नयी दूरसंचार नीति के क्रियान्वयन को तेज करने और 5जी स्पेक्ट्रम के आरक्षित मूल्य को कम करने की जरूरत बताई है। नयी दूरसंचार नीति को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 2018 में मंजूरी दी थी।

दूरसंचार विभाग के सदस्य (सेवाएं) भारत कुमार जोग ने बुधवार को इंडिया मोबाइल कांग्रेस (आईएमसी) को संबोधित करते हुए कहा कि उदीयमान प्रौद्योगिकियों का लाभ लेने के लिए प्रगतिशील नीतियां बनाने की जरूरत है।

जोग ने कहा, ‘‘राष्ट्रीय डिजिटल संचार नीति (एनडीसीपी)-2018 का उद्देश्य डिजिटल संचार नेटवर्क की बदलाव लाने वाली ताकत का दोहन करना और देश के लोगों को डिजिटल रूप से सशक्त करना तथा उनके जीवन में सुधार लाना है। एनडीसीपी-2018 को तेजी से क्रियान्वित करने की जरूरत है। सरकार इसके लिए सभी अंशधारकों के साथ काम कर रही है।’’

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एनडीसीपी-2018 में तय ज्यादातर लक्ष्यों को 2022 तक हासिल किया जाना है। हालांकि, नीति में प्रस्तावित कई रणनीतियों को अभी तक क्रियान्वित नहीं किया जा सका है। इनमें करों, शुल्कों और स्पेक्ट्रम मूल्य को तर्कसंगत बनाना शामिल है।

जोग ने कहा, ‘‘5जी के लिए सरकार की ओर से नीतिगत पहल में उचित मूल्य पर स्पेक्ट्रम की उपलब्धता, कम आरक्षित मूल्य और फाइबर लगाने के लिए समान आरओडब्ल्यू (राइट ऑफ वे) को शामिल किया जाना चाहिए।’’

दूरसंचार कंपनियां सरकार से उपलब्ध 5जी स्पेक्ट्रम जल्द से जल्द और निचले आरक्षित मूल्य पर उपलब्ध कराने की मांग कर रही हैं।

भाषा अजय

अजय मनोहर

मनोहर


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