Kawardha Water Crisis: जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में जलसंकट, पानी की एक-एक बूंद के लिए तरस रहे ग्राणीण, मचा हाहाकार
Kawardha Water Crisis: जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में जलसंकट, पानी की एक-एक बूंद के लिए तरस रहे ग्राणीण, मचा हाहाकार
Kawardha Water Crisis
कवर्धा। Kawardha Water Crisis: भीषण गर्मी में एक ओर कवर्धा जिला के वनांचल क्षेत्र में पानी की एक-एक बूंद के लिए हाहाकार मचा हुआ है। आदिवासी समुदाय के लोग झिरिया और नदी के पानी से अपनी प्यास बुझा रहे हैं, तो वहीं दूसरी ओर कवर्धा में निस्तारी के लिए जलाशय से छोड़े गए लाखों लीटर पानी व्यर्थ में बहाए जा रहा है। खास बात यह है कि पानी की बर्बादी को लेकर नगर पालिका प्रशासन और जल संसाधन विभाग एक दूसरे पर ठिकरा फोड़ रहे हैं।
दरअसल 4 दिनों पहले सरोदा जलाशय से शहर के बड़े मंदिर तालाब, भोजली तालाब, बावा तालाब सहित प्रमुख तालाबों में निस्तारी के लिए पानी भरने की मांग नगर पालिका द्वारा जल संसाधन विभाग से किया गया था जिसके बस जलाशय से पानी छोड़ा गया, लेकिन शहर की नालियां साफ नहीं होने के कारण पानी तालाबों में कम और व्यर्थ में कई जगहों पर भर रही है और यह सिलसिला पिछले तीन दिनों से रोज लाखों लीटर पानी बेकार में भर रही है।
Kawardha Water Crisis: वहीं जल संसाधन विभाग के अधिकारी का कहना है कि पानी को शहर तक पहुंचाना उनका काम है लेकिन तालाब तक पहुंचाने का काम पालिका का है। वहीं पालिका सीएमओ भी अपना पल्ला झाड़ते हुए ये कह रहे हैं कि केनॉल और नालों की सफाई के लिए हमने जल संसाधन विभाग को जेसीबी मशीन उपलब्ध करा दिया था सफाई का काम उनका है। कुल मिलाकर दोनों ही विभाग के अधिकारी इस लापरवाही का ठीकरा एक दूसरे पर लगाकर अपनी जिम्मेदारी से बचते नजर आ रहे हैं।

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