CG News : बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था ने ली एक और मासूम की बलि! एम्बुलेंस के इंतजार में पंडों जनजाति के नवजात की मौत |

CG News : बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था ने ली एक और मासूम की बलि! एम्बुलेंस के इंतजार में पंडों जनजाति के नवजात की मौत

बदहाल स्वास्थ्य व्यवस्था ने ली एक और मासूम की बलि! Newborn dies while waiting for ambulance in Ambikapur, Read

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Reported By: Abhishek Soni

Modified Date: April 18, 2025 / 12:18 AM IST
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Published Date: April 17, 2025 8:19 pm IST
HIGHLIGHTS
  • 102 और 108 एम्बुलेंस सेवा में भारी देरी, नवजात को समय पर जिला अस्पताल नहीं ले जाया जा सका।

अंबिकापुरः Ambikapur News राज्य सरकार स्वास्थ्य व्यवस्था में बदलाव को लेकर हमेशा अपनी पीठ थपथपाती है. लेकिन जमीनी स्तर हालात क्या है? समय-समय अंदरुनी इलाकों से आती तस्वीरें बयां कर देती है। छत्तीसगढ़ के सरगुजा में समय पर एम्बुलेंस नहीं मिल पाने के कारण एक नवजात ने दम तोड़ दिया। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है। इस घटना से स्वास्थ्य व्यवस्था कर कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं।

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Ambikapur News दरसअल उदयपुर क्षेत्र के ग्राम मिर्गाडांड की विशेष संरक्षित पंडो जनजाति की एक गर्भवती महिला को अचानक प्रसव पीड़ा शुरू हुई। परिजनों ने तत्काल 102 एम्बुलेंस सेवा को कॉल किया, लेकिन एम्बुलेंस के पहुंचने से पहले दर्द बढ़ने पर महिला ने घर पर ही दाई की मदद से एक स्वस्थ शिशु को जन्म दिया। जन्म के तुरंत बाद नवजात को 102 एम्बुलेंस से सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र उदयपुर लाया गया। सीएचसी में नाल काटने के बाद कुछ समय तक सब सामान्य था, लेकिन फिर शिशु को सांस लेने में परेशानी होने लगी। सीएचसी में ड्यूटी पर मौजूद डॉक्टर ने नवजात की स्थिति को गंभीर बताते हुए दोपहर करीब 3 बजे उसे जिला चिकित्सालय रेफर कर दिया। परंतु शाम तक 108 एम्बुलेंस नहीं पहुंच सकी। परिजन लगातार एम्बुलेंस सेवा से संपर्क करते रहे, लेकिन कोई समाधान नहीं मिला शाम 6 बजे तक शिशु की सांसें थम गईं।

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परिजनों ने कहा- अब क्या करोगे आकर

हद तो तब हो गई रात 8 बजे एम्बुलेंस कर्मियों का कॉल आया कि वे रवाना हो रहे हैं और तैयार रहें। इस पर गमगीन परिजनों ने कहा, “अब क्या करोगे आकर, हमारा बच्चा तो चला गया। आख़िरकार रात 11 बजे परिजन बाइक से मां और मृत नवजात को लेकर घर रवाना हुए। इस घटना ने सिस्टम की असंवेदनशीलता को उजागर कर दिया है इधर सीएचसी उदयपुर के बीएमओ डॉ. योगेंद्र पैकरा ने कहा, “मामले की जांच के बाद ही कार्रवाई की जाएगी। यह देखा जाएगा कि लापरवाही कहां हुई। वहीं, मितानिन मानकुंवर ने पूरी घटना का ब्यौरा देते हुए एम्बुलेंस सेवा की देरी को नवजात की मौत का कारण बताया। परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है।

"Ambikapur 108 एम्बुलेंस सेवा" समय पर क्यों नहीं पहुंची?

सरकारी अधिकारियों के अनुसार मामले की जांच जारी है, लेकिन प्रारंभिक सूचना के अनुसार सेवा में प्रबंधन और संचालन की लापरवाही सामने आई है।

"पंडो जनजाति की स्वास्थ्य सुविधाएं" कैसी हैं?

पंडो जनजाति एक विशेष संरक्षित समुदाय है, जिन्हें प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं की उपलब्धता में अक्सर कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है, खासकर दूर-दराज़ इलाकों में।

"सरगुजा जिले की एम्बुलेंस सेवाएं" कितनी प्रभावी हैं?

पिछले कुछ वर्षों में कई बार शिकायतें आई हैं कि एम्बुलेंस सेवा (102/108) समय पर नहीं पहुंचती, जिससे मरीजों की जान पर बन आती है।

"CHC उदयपुर की कार्रवाई" क्या रही?

सीएचसी के बीएमओ ने कहा है कि जांच के बाद लापरवाही पर उचित कार्रवाई की जाएगी। अभी तक कोई स्पष्ट जवाबदेही तय नहीं की गई है।

क्या "Ambikapur स्वास्थ्य व्यवस्था" पर सरकार ने प्रतिक्रिया दी है?

फिलहाल कोई आधिकारिक बयान सामने नहीं आया है, लेकिन यह घटना राज्य की स्वास्थ्य नीति और ग्रामीण क्षेत्रों में संसाधनों की कमी पर सवाल उठाती है।