चंडीगढ़, 19 फरवरी (भाषा) पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने बुधवार को सुखबीर सिंह बादल और सुनील जाखड़ सहित राजनीतिक प्रतिद्वंद्वियों पर राज्य के किसानों के अनशन के दौरान ‘‘दावतों का आनंद लेने’’ को लेकर निशाना साधा।
मान ने यहां नवनियुक्त 497 युवाओं को नियुक्ति पत्र सौंपने के लिए आयोजित एक समारोह के दौरान उपस्थित जनसमूह को संबोधित करते हुए कहा, ‘‘यह स्पष्ट रूप से इस ‘संभ्रांत’ राजनीतिक वर्ग की असंवेदनशीलता को दर्शाता है, जिसने दशकों तक राज्य में शासन किया है।’’
मान, शिरोमणि अकाली दल (शिअद) के सुखबीर सिंह बादल की बेटी हरकीरत कौर बादल के हालिया विवाह समारोह का संभवत: जिक्र कर रहे थे।
विवाह से संबंधित समारोह में कई राजनीतिक नेता शामिल हुए थे।
किसान नेता जगजीत सिंह डल्लेवाल फसलों के लिए न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) की कानूनी गारंटी सहित विभिन्न मांगों को लेकर केंद्र पर दबाव बनाने के लिए आमरण अनशन पर हैं।
मान ने कहा, ‘‘ये राजनीतिक नेता हमेशा अपने हितों की रक्षा के लिए एक-दूसरे से मेलजोल रखते हैं, जबकि राज्य और इसके लोगों के मामलों को नजरअंदाज करते हैं। ये नेता अपने-अपने मंचों से एक-दूसरे के खिलाफ जहर उगलते हैं, लेकिन ऐसे निजी समारोहों में एक-दूसरे से गले मिलते हैं। यह उनके संदिग्ध चेहरे को उजागर करता है।’’
उन्होंने आरोप लगाया, ‘‘ये नेता यह कहकर अपने कदम को उचित ठहराएंगे कि यह उनका सामाजिक दायित्व है, लेकिन वे भूल जाते हैं कि उनके भड़काऊ भाषणों के कारण राज्य का सामाजिक ताना-बाना बिगड़ता है। वे अपने निहित राजनीतिक हितों के लिए लोगों को बांटते हैं, लेकिन शर्मनाक रूप से एक-दूसरे के साथ मिले हुए हैं।’’
मान ने अपने विरोधियों पर निशाना साधते हुए कहा कि ये नेता, लोगों को बेवकूफ बनाते हैं क्योंकि राज्य के गांवों में लोग राजनीतिक पार्टियों के नाम पर एक दूसरे से लड़ते हैं। उन्होंने कहा कि ये नेता एक दूसरे के यहां शादियों और समारोहों में शामिल होते हैं और गले मिलते हैं।
मान ने कहा कि लोगों को हमेशा आम आदमी की सरकार चुननी चाहिए।
मान ने सुखबीर बादल का जिक्र करते हुए कहा, ‘‘लोकतंत्र में आम आदमी की शक्ति सर्वोच्च होती है। जो लोग दावा करते थे कि वे 25 साल तक शासन करेंगे, उन्हें लोगों ने राजनीतिक गुमनामी में भेज दिया है।’’
भाषा सुभाष माधव
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