रोगों के प्रकोप से निपटने के लिए दो और बीएसएल-3 चल प्रयोगशालाएं खरीदेगा आईसीएमआर

रोगों के प्रकोप से निपटने के लिए दो और बीएसएल-3 चल प्रयोगशालाएं खरीदेगा आईसीएमआर

रोगों के प्रकोप से निपटने के लिए दो और बीएसएल-3 चल प्रयोगशालाएं खरीदेगा आईसीएमआर
Modified Date: June 26, 2025 / 08:40 am IST
Published Date: June 26, 2025 8:40 am IST

नयी दिल्ली, 26 जून (भाषा) भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) ने रोगजनकों विषाणुओं के प्रकोप से निपटने की क्षमताओं को बढ़ाने और विशेष रूप से दूरदराज व दुर्गम क्षेत्रों में सार्वजनिक स्वास्थ्य सेवा को मजबूत बनाने के लिए दो और बीएसएल-3 (एमबीएसएल-3) चल प्रयोगशालाओं की खरीद की प्रक्रिया शुरू की है।

‘रामबाण’ नामक दो ऐसी प्रयोगशालाएं फिलहाल आईसीएमआर के दो संस्थानों, पुणे में राष्ट्रीय विषाणु विज्ञान संस्थान और उत्तर प्रदेश के गोरखपुर में आरएमआरसी में संचालित हैं।

‘रामबाण’ अपनी तरह की पहली ‘रैपिड एक्शन मोबाइल’ बीएसएल-3 प्रयोगशाला है और पूरी तरह से स्वदेशी है। इसे स्वास्थ्य संस्थानों के बाहर भी तैनात किया जा सकता है। इसे जोखिम वाले ज्ञात व अज्ञात उच्च रोगजनकों के प्रकोप के दौरान बढ़ी हुई जरूरतों को पूरा करने के लिए तैयार किया गया है।

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आईसीएमआर ने कहा कि ये प्रयोगशालाएं प्रधानमंत्री-आयुष्मान भारत स्वास्थ्य अवसंरचना मिशन, स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय के संरक्षण में क्लेनजाइड्स कंटैमिनेशन कंट्रोल्स प्राइवेट लिमिटेड, मुंबई के साथ साझेदारी के तहत विकसित की गई हैं।

संस्थान ने कि एमबीएसएल-3 को पहली बार सितंबर 2023 में केरल के कोझिकोड में निपाह वायरस (एनआईवी) प्रकोप के दौरान और फिर जुलाई 2024 में राज्य के मलप्पुरम जिले में सफलतापूर्वक तैनात व संचालित किया था।

भाषा जोहेब वैभव

वैभव


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