नाबालिग दलित लड़की के साथ दुष्कर्म और आत्महत्या संबंधी मामले में मुख्य आरोपी को आजीवन कारावास

नाबालिग दलित लड़की के साथ दुष्कर्म और आत्महत्या संबंधी मामले में मुख्य आरोपी को आजीवन कारावास

नाबालिग दलित लड़की के साथ दुष्कर्म और आत्महत्या संबंधी मामले में मुख्य आरोपी को आजीवन कारावास
Modified Date: November 29, 2022 / 07:55 pm IST
Published Date: October 12, 2021 11:50 pm IST

बीकानेर, 12 अक्टूबर (भाषा) राजस्थान में बीकानेर की एक विशेष पॉक्सो (यौन अपराधों से बाल सरंक्षण अधिनियम) अदालत ने मंगलवार को जिले में एक दलित नाबालिग लड़की के साथ बलात्कार और आत्महत्या संबंधी मामले में दोषियों को सजा सुनाई।

पॉक्सो अदालत के न्यायाधीश देवेंद्र सिंह नागर ने मंगलवार को मुख्य आरोपी और दुष्कर्म करने वाले शिक्षक विजेन्द्र सिंह को आजीवन कारावास व छात्रावास की वार्डन प्रिया शुक्ला और उसके पति प्रतीक शुक्ला को छह-छह साल की सजा सुनाई।

अदालत ने आरोपियों को शनिवार को भारतीय दंड संहिता की विभिन्न धाराओं, पॉक्सो और अनुसूचित जाति-अनुसूचित जनजाति (अत्याचार निवारण) अधिनियम की धाराओं के तहत दोषी ठहराया था। मंगलवार को इस मामले पर फैसला सुनाया।

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मुख्य आरोपी विजेन्द्र को बलात्कार, आत्महत्या के लिए उकसाने, अपहरण और अन्य अपराधों के लिये दोषी ठहराया गया जबकि शुक्ला दंपति को अपहरण, आत्महत्या के लिए उकसाने का दोषी ठहराया गया। अदालत ने संस्थान के मालिक ईश्वर चंद बैद को दोषमुक्त करार दिया।

वर्ष 2016 में दलित युवती के आत्महत्या प्रकरण में परिजनों व समुदाय की तरफ से कई दिनो तक धरना प्रदर्शन किया गया था। नाबालिग युवती जैन आदर्श कन्या शिक्षक प्रशिक्षण संस्थान में बीएसटीसी द्वितीय वर्ष की छात्रा थी और कॉलेज के छात्रावास में रहती थी। दुष्कर्म के बाद नाबालिग का शव छात्रावास में पानी के कुंड में पाया गया था।

भाषा सं कुंज कुंज


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