एनआईए ने रंगदारी वसूलने और शरण देने के मामले में माओवादी के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया

एनआईए ने रंगदारी वसूलने और शरण देने के मामले में माओवादी के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया

एनआईए ने रंगदारी वसूलने और शरण देने के मामले में माओवादी के खिलाफ आरोपपत्र दाखिल किया
Modified Date: July 3, 2025 / 07:20 pm IST
Published Date: July 3, 2025 7:20 pm IST

नयी दिल्ली, तीन जुलाई (भाषा)राष्ट्रीय अन्वेषण अभिकरण (एनआईए) ने प्रतिबंधित भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी- माओवादी (भाकपा-माओवादी) के झारखंड में सक्रिय रहे एक कार्यकर्ता के खिलाफ बृहस्पतिवार को हथियार रखने, रंगदारी वसूलने और प्रतिबंधित संगठन के काडर को शरण देने के मामले में आरोपपत्र दाखिल किया। यहां जारी एक आधिकारिक बयान में यह जानकारी दी गई।

बयान में कहा गया है कि झारखंड के पश्चिमी सिंहभूम जिले के निवासी राजेश देवगम के खिलाफ रांची स्थित विशेष एनआईए अदालत के समक्ष दायर पूरक आरोपपत्र दाया गया। इसमें देवगम के खिलाफ भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), शस्त्र अधिनियम, विस्फोटक पदार्थ अधिनियम और गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम की विभिन्न धाराओं के तहत आरोप लगाए गए हैं।

एनआईए की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि आरोपपत्र उस मामले में दायर किया गया है जो मूल रूप से स्थानीय पुलिस ने पांच लोगों के खिलाफ दर्ज किया था। उक्त मामला मार्च 2024 में प्रमुख भाकपा (माओवादी) सदस्य मिसिर बेसरा से संबंधित भारी मात्रा में धन और विभिन्न आपत्तिजनक सामग्रियों की बरामदगी से संबंधित था।

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बयान में कहा गया है कि जुलाई 2024 में जांच का जिम्मा संभालने वाली एनआईए ने पाया कि देवगाम आतंकवादी कृत्यों को अंजाम देने, बैठकें आयोजित करने और ठेकेदारों और व्यापारियों से धन उगाही करने संबंधी प्रतिबंधित संगठन की आपराधिक साजिश में सक्रिय रूप से सहयोग कर रहा था।

एनआईए ने कहा कि देवगाम के खुलासे के बाद जिलेटिन की छड़ें, 10.5 लाख रुपये नकद, एक वॉकी-टॉकी, एक सैमसंग टैबलेट कंप्यूटर, एक पावर बैंक, एक रेडियो सेट, जबरन वसूली रसीदें और अन्य आपत्तिजनक सामग्री जब्त की गई। ये सामग्री हुसीपी और राजाभासा गांवों के बीच के वन क्षेत्रों में छिपाई गई थी।

भाषा धीरज नरेश

नरेश


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