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15 दिन के लिए इस जगह पर खुलते हैं नरक के द्वार!, भूत-प्रेत को खाना खिलाते हैं लोग

Amazing news : कुछ लोग भूत प्रेत पर विश्वास करते हैं। अंधविश्वास में जीते रहते हैं। उन पर विश्वास करते हैं। ऐसे में एक ऐसा देश है.

Edited By :   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:20 PM IST, Published Date : October 9, 2022/11:31 pm IST

Amazing news : कुछ लोग भूत प्रेत पर विश्वास करते हैं। अंधविश्वास में जीते रहते हैं। उन पर विश्वास करते हैं। ऐसे में एक ऐसा देश है, जहां 15 दिनों तक भूतों को खाना खिलाया जाता है। लोगों का मानना है कि अगर लोग ऐसा नहीं करें बुरी आत्माएं और भूत उन्हें और उनके परिवार वालों को परेशान करते हैं। Themirror के मुताबिक, यह मान्यता कंबोडिया (एशियन कंट्री) की है। यहां शरद ऋतु में एक फेस्टिवल होता है जिसे पचम बेन फेस्टिवल कहा जाता है। यह फेस्टिवल हर साल सितंबर और अक्टूबर के बीच खमेर चंद्र कैलेंडर के 10 वें महीने के दौरान 15 दिनों के लिए होती है।

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मान्यता है कि इस समय भूखी आत्माएं बाहर आती हैं और उन्हें खाना खिलाना होता है। इस उत्सव को खमेर महोत्सव के रूप में भी जाना जाता है। इस दौरान भूत मंदिरों, कब्रिस्तानों और अपने रिश्तेदारों के घरों के आसपास अच्छे भोजन की तलाश में घूमते हैं। अगर उन्हें अच्छा भोजन नहीं मिलता है तो वह उन्हें परेशान करते हैं।

माना जाता है कि इस फेस्टिवल के दौरान 15 दिन तक नरक के द्वार खुल जाते हैं और भूखी बुरी आत्माएं और भूत बाहर आते हैं। इसके बाद उन्हें खाना खिलाकर शांत कराया जाता है। The mirror के मुताबिक, इस फेस्टिवल में चार तरह की आत्माएं या भूत होते हैं। वह भूत जो अस्थायी रूप से मुक्त होते हैं वह केवल खून और मवाद खाते हैं। अगर भूतों को खाना खिलाया जाए तो वह आशीर्वाद देते हैं और फिर नरक में वापस लौट जाते हैं।प्राचीन रिवाज के मुताबिक, दक्षिण पूर्व एशियाई देश कंबोडिया में इस मान्यता को काफी अधिक माना जाता है। इसमें परिवार अपने पिछले सात पूर्वजों को भोजन कराता है। इस त्योहार के शुरू होने से पहले दिन परिजन सुबह जल्दी उठ जाते हैं और सूरज निकलने से पहले ही खाना तैयार कर लेते हैं। बताया जाता है कि भूतों को रोशनी पसंद नहीं है। अगर थोड़ी सी भी धूप दिखाई दे जाए तो भोजन स्वीकार नहीं होता।

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