Free Ration Scheme Latest News: 'मतदाता सूचि में नाम नहीं तो कट जाएगा राशन कार्ड से नाम, नहीं मिलेगी राशन और सरकारी सुविधाएं' / Image: IBC24 Customized
नई दिल्लीः Ration Card e-KYC: केंद्र और राज्य की सरकारें देश के नागरिकों के लिए कई तरह की योजनाएं संचालित करती है। लेकिन कई ऐसे लोग होते हैं, जो इन योजनाओं का गलत तरीके से फायदा उठाते हैं। ऐसा ही राशन वितरण में हो रहा था। इस पर लगाम लगाने के लिए केंद्र की मोदी सरकार ने PDS नियमों में संशोधन करते हुए सभी राशन कार्ड धारकों के लिए हर पांच साल में इलेक्ट्रॉनिक नो योर कस्टमर यानी ई-केवाईसी प्रक्रिया को अनिवार्य कर दिया है। अब हर पांच साल में एक बार राशन कार्ड का ई-केवाईसी कराना अनिवार्य होगा।
Ration Card e-KYC: केंद्र सरकार की ओर से कहा गया है कि “लक्षित सार्वजनिक वितरण प्रणाली (नियंत्रण) संशोधन आदेश, 2025” के तहत PDS में पारदर्शिता बढ़ाने, डुप्लिकेशन को रोकने और सब्सिडी के टारगेट को बेहतर बनाने के लिए महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं। इसके तहत, राज्य सरकारों को सभी पात्र परिवारों के लिए हर पांच साल में ई-केवाईसी प्रक्रिया को अनिवार्य रूप से पूरा करना होगा। इस प्रक्रिया में अयोग्य परिवारों को लाभार्थी सूची से हटाया जाएगा और नवीन पात्र परिवारों को शामिल किया जाएगा। नए नियमों के अनुसार, अलग राशन कार्ड के लिए न्यूनतम आयु अब 18 वर्ष निर्धारित की गई है। यह कदम यह सुनिश्चित करेगा कि केवल पात्र व्यक्ति ही राशन कार्ड के माध्यम से सब्सिडी प्राप्त करें। कोई भी व्यक्ति 18 वर्ष की आयु पूरी होने से पहले अलग राशन कार्ड रखने का पात्र नहीं होगा। पांच वर्ष से कम आयु के बच्चों के आधार नंबर (अगर उपलब्ध हैं) एकत्र किए जाने चाहिए और उनके पांच साल का होने के एक वर्ष के भीतर ई-केवाईसी करवाना आवश्यक है।
अधिसूचना में कहा गया है, “जिन लाभार्थियों ने पिछले छह महीनों में अपने अधिकारों का लाभ नहीं उठाया है, उनके राशन कार्ड अस्थायी रूप से निष्क्रिय कर दिए जाएंगे। राज्य सरकार को पात्रता का पुनर्मूल्यांकन करने और आगे की कार्रवाई करने के लिए तीन महीने के भीतर क्षेत्रीय सत्यापन और ई-केवाईसी पूरा करना होगा।” इसके अलावा, जिन मामलों में एक ही राज्य या विभिन्न राज्यों में डुप्लिकेट पाए गए राशन कार्ड अस्थायी रूप से निष्क्रिय कर दिए जाते हैं, वहां लाभार्थियों को वैध दस्तावेज जमा करके और ई-केवाईसी पूरा करके पात्रता साबित करने के लिए तीन महीने का समय दिया जाएगा। केंद्र ने कहा, “नए राशन कार्ड जारी करने के लिए पहले आओ, पहले पाओ (FIFO) पद्धति अपनाई जाएगी। राज्यों को अपने सार्वजनिक वेब पोर्टल पर एक वास्तविक समय की पारदर्शी प्रतीक्षा सूची प्रकाशित करनी होगी, जिससे आवेदक अपने आवेदन की स्थिति पर नजर रख सकें।”