वाल्मीक कराड की मदद करने वाले और अन्य लोग बेखौफ घूम रहे हैं: संतोष देशमुख के भाई

वाल्मीक कराड की मदद करने वाले और अन्य लोग बेखौफ घूम रहे हैं: संतोष देशमुख के भाई

वाल्मीक कराड की मदद करने वाले और अन्य लोग बेखौफ घूम रहे हैं: संतोष देशमुख के भाई
Modified Date: February 14, 2025 / 03:11 pm IST
Published Date: February 14, 2025 3:11 pm IST

छत्रपति संभाजीनगर, 14 फरवरी (भाषा) बीड के मारे गए सरपंच संतोष देशमुख के भाई ने शुक्रवार को दावा किया कि कथित तौर पर जबरन वसूली के एक संबंधित मामले में गिरफ्तार वाल्मीक कराड और अन्य आरोपियों की मदद करने वाले लोगों का एक समूह बेखौफ घूम रहा है।

सरपंच के भाई धनंजय देशमुख ने कहा कि महाराष्ट्र के मंत्री धनंजय मुंडे के करीबी कराड की एक ‘‘बी टीम’’ अब भी बीड में सक्रिय है और यह उनकी व अन्य लोगों की मदद कर रही है।

धनंजय ने कहा कि उन्होंने इन लोगों के बारे में जांच एजेंसियों को सूचित कर दिया है।

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देशमुख को नौ दिसंबर, 2024 को बीड जिले में एक ऊर्जा कंपनी को निशाना बनाकर की जा रही जबरन वसूली की कोशिश को रोकने का प्रयास करने पर अगवा कर लिया गया था। इसके बाद उन्हें प्रताड़ित करके उनकी हत्या कर दी गई थी।

पुलिस ने अब तक सरपंच की हत्या के सिलसिले में सात लोगों को गिरफ्तार किया है, जबकि आरोपी कृष्णा अंधाले अब भी फरार है। कराड को जबरन वसूली के मामले में गिरफ्तार किया गया था और वह न्यायिक हिरासत में है।

धनंजय देशमुख ने कहा कि “बालाजी तंदले, संजय केदार, वायबासे” ने कराड और उनके (धनंजय) भाई की हत्या के सिलसिले में गिरफ्तार लोगों की मदद की थी।

उन्होंने कहा, ‘‘ये लोग मेरे भाई की हत्या के मामले में आरोपियों को अदालत ले जाते समय वहां होते हैं’’ और वे कराड की ‘बी’ टीम हैं।

धनंजय ने दावा किया कि तंदले के पास अपराध में इस्तेमाल की गई कार थी, जबकि वायबासे ने आरोपियों से ऑनलाइन वित्तीय लेन-देन किया था।

उन्होंने दावा किया कि हत्या के बाद 10-15 दिन तक फरार रहने वाले तीनों लोगों को बाद में पूछताछ के लिए लाया गया और छोड़ दिया गया।

धनंजय ने कहा, “मैंने पुलिस को कराड की ‘बी’ टीम के बारे में बताया है। हमने एक आवेदन के माध्यम से जांच एजेंसियों को इन लोगों के बारे में सूचित किया था, लेकिन हमें नहीं पता कि उसके बाद क्या हुआ। हम जवाब चाहते हैं।”

कराड की गिरफ्तारी के बाद से मंत्री मुंडे विपक्ष और सत्तारूढ़ गठबंधन के कुछ नेताओं के निशाने पर हैं।

उन्होंने सरपंच की हत्या व जबरन वसूली के मामलों से किसी भी तरह का संबंध होने से इनकार किया है।

भाषा जोहेब नेत्रपाल

नेत्रपाल


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