SC Warning to Rahul Gandhi: ‘वरना राहुल गांधी को भुगतना पड़ेगा गंभीर परिणाम’.. आखिर क्यों सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस नेता को लगाई जमकर फटकार?

इस मामले में अधिवक्ता नृपेंद्र पांडे ने शिकायत दर्ज कराई थी कि राहुल गांधी का बयान समाज में नफरत फैलाने की मंशा से दिया गया और इससे स्वतंत्रता सेनानी सावरकर की छवि को नुकसान पहुंचा है।

SC Warning to Rahul Gandhi: ‘वरना राहुल गांधी को भुगतना पड़ेगा गंभीर परिणाम’.. आखिर क्यों सुप्रीम कोर्ट ने कांग्रेस नेता को लगाई जमकर फटकार?

Supreme Court criticized Rahul Gandhi || Image- HINDU E SHOP

Modified Date: April 25, 2025 / 03:02 pm IST
Published Date: April 25, 2025 2:55 pm IST
HIGHLIGHTS
  • सुप्रीम कोर्ट ने सावरकर टिप्पणी पर राहुल गांधी को कड़ी चेतावनी दी।
  • भविष्य में बयान दोहराने पर कोर्ट स्वतः संज्ञान लेकर कार्रवाई करेगा।
  • लखनऊ कोर्ट में मानहानि मामले पर रोक, बशर्ते बयान न दोहराएं।

Supreme Court criticized Rahul Gandhi: नई दिल्ली: सुप्रीम कोर्ट ने शुक्रवार को कांग्रेस सांसद राहुल गांधी को स्वतंत्रता सेनानी विनायक दामोदर सावरकर के खिलाफ की गई टिप्पणियों को लेकर कड़ी चेतावनी दी है। कोर्ट ने साफ किया कि भविष्य में अगर वह इस तरह के बयान दोहराते हैं तो “परिणाम भुगतने होंगे”।

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न्यायमूर्ति दीपांकर दत्ता और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा की पीठ ने कहा कि गांधी को स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में “गैर-जिम्मेदाराना बयान” नहीं देने चाहिए। न्यायमूर्ति दत्ता ने गांधी की ओर से पेश वरिष्ठ वकील अभिषेक मनु सिंघवी से सवाल किया, “क्या राहुल गांधी जानते हैं कि उनकी दादी और पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने कभी सावरकर की प्रशंसा करते हुए उन्हें पत्र लिखा था?”

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महात्मा गांधी का उदाहरण

Supreme Court criticized Rahul Gandhi: कोर्ट ने यह भी सवाल उठाया कि अगर महात्मा गांधी ने ब्रिटिश वायसराय को पत्र में “आपका वफादार सेवक” लिखा, तो क्या इसका मतलब यह निकाला जा सकता है कि वे अंग्रेजों के अनुचर थे? कोर्ट ने कहा, “क्या स्वतंत्रता सेनानियों के साथ ऐसा व्यवहार उचित है?” न्यायमूर्ति दत्ता ने कहा, “महाराष्ट्र में सावरकर की पूजा होती है। राहुल गांधी को चाहिए कि वे स्वतंत्रता सेनानियों के बारे में सोच-समझकर बोलें। अगर वह फिर से ऐसा बयान देते हैं तो कोर्ट स्वतः संज्ञान लेगा और किसी मंजूरी की आवश्यकता नहीं होगी।”

हालांकि, पीठ ने कहा कि वह लखनऊ की अदालत में चल रही आपराधिक मानहानि की कार्यवाही पर फिलहाल रोक लगाने को तैयार है, बशर्ते राहुल गांधी भविष्य में ऐसे बयान नहीं दोहराएं।

जानें क्या है मामला है?

Supreme Court criticized Rahul Gandhi: दरअसल पूरा मामला राहुल गांधी द्वारा पिछले साल दिसंबर 2024 में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में दिए गए बयान से जुड़ा है, जिसमें उन्होंने कथित तौर पर कहा था कि सावरकर अंग्रेजों के सेवक थे और उन्होंने अंग्रेजों से पेंशन ली थी। इस बयान के बाद लखनऊ की एक मजिस्ट्रेट अदालत ने गांधी के खिलाफ आपराधिक मानहानि का मामला दर्ज करते हुए उन्हें समन जारी किया था। यह समन 12 दिसंबर 2024 को पारित किया गया था। इसके खिलाफ गांधी ने इलाहाबाद हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी, लेकिन कोर्ट ने समन रद्द करने से इनकार कर दिया था। इसके बाद गांधी ने सुप्रीम कोर्ट का रुख किया।

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इस मामले में अधिवक्ता नृपेंद्र पांडे ने शिकायत दर्ज कराई थी कि राहुल गांधी का बयान समाज में नफरत फैलाने की मंशा से दिया गया और इससे स्वतंत्रता सेनानी सावरकर की छवि को नुकसान पहुंचा है। सुप्रीम कोर्ट की ओर से दी गई चेतावनी के बाद राहुल गांधी के लिए यह स्पष्ट संदेश है कि उन्हें ऐतिहासिक व्यक्तित्वों पर टिप्पणी करते समय संयम बरतना होगा।


सामान्यतः पूछे जाने वाले प्रश्नः

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