सूरजगढ़ खदान आगज़नी मामला: शीर्ष अदालत गाडलिंग की जमानत पर अगले हफ्ते सुनवाई करेगी

सूरजगढ़ खदान आगज़नी मामला: शीर्ष अदालत गाडलिंग की जमानत पर अगले हफ्ते सुनवाई करेगी

सूरजगढ़ खदान आगज़नी मामला: शीर्ष अदालत गाडलिंग की जमानत पर अगले हफ्ते सुनवाई करेगी
Modified Date: January 30, 2025 / 03:11 pm IST
Published Date: January 30, 2025 3:11 pm IST

नयी दिल्ली, 30 जनवरी (भाषा) उच्चतम न्यायालय ने 2016 के सूरजगढ़ लौह अयस्क खदान आगजनी मामले में अधिवक्ता सुरेन्द्र गाडलिंग की जमानत याचिका पर सुनवाई बृहस्पतिवार को अगले सप्ताह के लिए स्थगित कर दी।

न्यायमूर्ति एम एम सुंदरेश और न्यायमूर्ति राजेश बिंदल की पीठ ने मामले की सुनवाई स्थगित कर दी क्योंकि महाराष्ट्र सरकार का प्रतिनिधित्व कर रहे अतिरिक्त महाधिवक्ता राजा ठाकरे उपलब्ध नहीं थे।

गाडलिंग की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता आनंद ग्रोवर ने पीठ से अनुरोध किया कि इस मामले को प्राथमिकता में रखें।

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शीर्ष अदालत ने 10 अक्टूबर 2023 को राज्य सरकार को नोटिस जारी कर याचिका पर चार सप्ताह के भीतर जवाब मांगा था।

बंबई उच्च न्यायालय की नागपुर पीठ ने 31 जनवरी, 2023 को गाडलिंग को जमानत देने से इनकार करते हुए कहा था कि उनके खिलाफ आरोप प्रथम दृष्टया सत्य हैं।

माओवादियों ने 25 दिसंबर 2016 को महाराष्ट्र के गढ़चिरौली में सूरजगढ़ खदानों से लौह अयस्क के परिवहन के लिए इस्तेमाल किए जा रहे 76 वाहनों को कथित तौर पर आग लगा दी।

गाडलिंग पर माओवादियों को सहायता प्रदान करने तथा मामले में फरार आरोपियों सहित विभिन्न सह-आरोपियों के साथ षड्यंत्र रचने का आरोप लगाया गया था।

उन पर गैरकानूनी गतिविधियां रोकथाम अधिनियम और भारतीय दंड संहिता (आईपीसी) की विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया था।

अभियोजन पक्ष ने दावा किया था कि गाडलिंग ने भूमिगत माओवादियों को सरकारी गतिविधियों के बारे में गुप्त जानकारी उपलब्ध कराई थी।

भाषा

नोमान नरेश

नरेश


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