शिमला, 22 मार्च (भाषा) हिमाचल प्रदेश विधानसभा में बुधवार को ग्रामीण विकास मंत्री अनिरुद्ध सिंह द्वारा पिछली भाजपा सरकार की ‘जनमंच’ योजना को खत्म करने की घोषणा करने के बाद सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तीखी नोकझोंक हुई।
भाजपा सदस्य नारेबाजी करते हुए अध्यक्ष के आसन के समीप आ गए और अध्यक्ष कुलदीप सिंह पठानिया ने सदन की कार्यवाही 15 मिनट के लिए स्थगित कर दी।
मंत्री ने जब कांग्रेस के संजय रतन के एक सवाल का जवाब देते हुए सदन को सूचित किया कि 3 जून, 2018 से 1 मई, 2022 तक भाजपा सरकार द्वारा 5.34 करोड़ रुपये खर्च किए गए और 258 जनमंच आयोजित किए गए।
उन्होंने कहा कि 45,726 शिकायतें प्राप्त हुईं और 43,821 शिकायतों का निवारण किया गया, जबकि 1,905 मामले लंबित हैं और सरकार कार्यक्रम को बंद कर देगी।
मंत्री के जवाब पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए नेता प्रतिपक्ष जयराम ठाकुर ने कहा कि कार्यक्रम का उद्देश्य जनता की शिकायतों का निवारण उनके दरवाजे पर करना है। उन्होंने मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू से योजना को रद्द करने के फैसले पर फिर से विचार करने का आग्रह किया।
राजस्व मंत्री जगत सिंह नेगी ने कहा कि किसी भी योजना को जारी रखने या बंद करने का अधिकार सरकार का है और कहा कि 2.71 करोड़ रुपये केवल भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) कार्यकर्ताओं के भोजन पर खर्च किए गए। एक जनमंच में अपना अनुभव बताते हुए उन्होंने कहा कि लोगों के मुद्दों को उठाने के लिए उनके खिलाफ आईपीसी की धारा 506 के तहत मामला दर्ज किया गया था।
ठाकुर ने कहा कि सब कुछ बंद करना कोई समाधान नहीं है और किसी व्यक्ति के बुरे अनुभव के लिए व्यवस्था को नहीं बदला जा सकता। सुक्खू ने कहा कि एक नयी योजना लायी जाएगी जिसमें कर्मचारियों और अधिकारियों को उचित सम्मान दिया जाएगा और लोगों की समस्याओं का समाधान किया जाएगा।
इसके बाद भाजपा सदस्यों ने नारेबाजी शुरू कर दी और अध्यक्ष के आसन के समीप पहुंच गए, जिसके बाद कार्यवाही स्थगित कर दी गई।
भाषा अमित पवनेश
पवनेश
(इस खबर को IBC24 टीम ने संपादित नहीं किया है. यह सिंडीकेट फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
Khoon Ka Pyasa : पत्नी की मौत का बदला लेने…
20 mins agoThe Big Picture With RKM : BJP के लिए ‘दक्षिण’…
28 mins ago