Samantha Ruth Prabhu Wedding: मशहूर एक्ट्रेस ने पारंपरिक विवाह छोड़ क्यों चुना ‘भूत शुद्धि विवाह’? जिसके लिए विदेशी कपल्स भी पागल हैं, जानें इस अनोखी शादी के बारे में
मशहूर एक्ट्रेस समांथा रुथ प्रभु ने तलाक के चार साल बाद चुपचाप अपने बॉयफ्रेंड राज निदिमोरू से शादी रचाई। यह शादी प्राचीन योगिक विधि ‘भूत शुद्धि विवाह’ के तहत ईशा योग केंद्र में देवी लिंग भैरवी के आशीर्वाद से संपन्न हुई, जो दंपत्ति के मानसिक, शारीरिक और आध्यात्मिक शुद्धता पर केंद्रित है।
Samantha Ruth Prabhu Wedding / Image Source: Instagram / @samantharuthprabhuoffl
- समांथा रुथ प्रभु ने तलाक के चार साल बाद शादी की।
- ये विवाह देवी लिंग भैरवी के आशीर्वाद से किया गया।
- शादी ‘भूत शुद्धि विवाह’ नाम की योगिक पद्धति के अनुसार हुई।
Samantha Ruth Prabhu Wedding: मशहूर एक्ट्रेस समांथा रुथ प्रभु ने तलाक के चार साल बाद चुपचाप अपने बॉयफ्रेंड और फिल्ममेकर राज निदिमोरू के साथ विवाह रचाया है। ये शादी किसी सामान्य पद्धति से नहीं बल्कि एक दुर्लभ और प्राचीन योगिक विधि ‘भूत शुद्धि विवाह’ के जरिये पूरी की गई। इस अनोखी परंपरा की वजह से लोगों में इसके बारे में जानने की उत्सुकता बढ़ गई है। सोमवार सुबह कोयंबटूर स्थित ईशा योग केंद्र में, लिंग भैरवी देवी के समक्ष, समांथा और राज ने ‘भूत शुद्धि विवाह’ के जरिए एक-दूसरे को जीवनसाथी स्वीकार किया।
शादी के इवेंट में केवल परिवार और कुछ चुनिंदा लोग ही शामिल थे। प्राचीन वैदिक में हुई इस शादी को लेकर अब लोग जानना चाहते हैं कि आखिर भूत शुद्धि विवाह क्या है।
क्या है भूत शुद्धि विवाह?
Bhoot Shuddhi Vivah: भूत शुद्धि विवाह एक प्राचीन योगिक प्रक्रिया है, जिसमें विवाह से पहले दंपत्ति के शरीर और ऊर्जा को शुद्ध किया जाता है। इस प्रक्रिया में शरीर के पांच तत्व-पृथ्वी, जल, अग्नि, वायु और आकाश को संतुलित और पवित्र किया जाता है। इसका उद्देश्य दंपत्ति के बीच गहरा, दिव्य और आध्यात्मिक संबंध स्थापित करना है, जो उन्हें मानसिक, शारीरिक और ऊर्जात्मक स्तर पर शुद्ध करता है। ये विशेष विवाह अनुष्ठान ईशा फाउंडेशन द्वारा संपन्न कराया जाता है।
ये विवाह देवी लिंग भैरवी के आशीर्वाद से संपन्न होता है और दंपत्ति को मानसिक, शारीरिक और आध्यात्मिक शुद्धता की ओर अग्रसर करता है। लिंग भैरवी दिव्य स्त्री-शक्ति का उग्र और करुण रूप है जिन्हें सद्गुरु ने ईशा योग केंद्र में प्राण-प्रतिष्ठा के माध्यम से स्थापित किया हुआ है। यहां ऐसे अनुष्ठान उपलब्ध हैं जो जीवन को समृद्ध बनाने में मदद करते हैं। ब्रह्मांड की सृजनात्मक शक्ति को धारण करने वाला ये आठ फुट का ऊर्जा स्वरूप, भक्तों को जन्म से लेकर मृत्यु तक जीवन के हर चरण में सहयोग प्रदान करता है। ये शरीर, मन और ऊर्जा को स्थिर करने में मदद करता है।
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