Face To Face Madhya Pradesh
Face To Face Madhya Pradesh: भोपाल। रतलाम के प्रभारी मंत्री विजय शाह ने ये कहकर विवाद खड़े कर दिया है कि वो प्रभारी मंत्री हैं, उनका कहा सबको मानना होगा। इस पर विपक्ष की ओर से प्रतिक्रिया तो आई ही। वहीं, ये सवाल भी उठ रहा है कि शाह का ऐसा बयान देना क्या दर्शाता है। क्या ये सत्ता का नशा है या फिर वो अपने रसूख के दम पर असहमत स्वरों को चुप कराना चाहते हैं?
रतलाम प्रभारी विजय शाह ने ये साफ-साफ कह दिया है कि जिले के प्रभारी मंत्री वो हैं, जो वो चाहेंगे वही होगा। विजय शाह ने ये भी कहा कि यस सर, यस मैडम नहीं चलेगा अब जय हिंद बोलना होगा। चाहे प्राइवेट स्कूल हो या फिर सरकारी। विजय शाह के बयान के बाद सियासी बवाल मच गया। कांग्रेस ने इस बयान को हाथों-हाथ लिया और इसे मंत्री जी निरंकुशता से जोड़ दिया।
विजय शाह के बयान से कांग्रेस को बैठे बिठाए मुद्दा मिल गया है। हालांकि, विजय शाह ने जो बयान दिया है वो बीजेपी की पारंपरिक लाइन से इतर है। लेकिन, सवाल ये है कि ये बयान सत्ता के नशे में दिया गया है या फिर अहसमत स्वरों को चुप कराने के लिए ? या फिर उनका संदर्भ केवल जय हिंद को लेकर था?