इंदौरः Pravasi Bhartiya Divas celebrations मध्यप्रदेश के इंदौर में 3 दिवसीय प्रवासी भारतीय सम्मेलन का मंगलवार को समापन हो गया। आयोजन के अंतिम दिन राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने विभिन्न क्षेत्र में उत्कृष्ट कार्य करने वाले 27 प्रवासी भारतीयों को सम्मानित किया। इस दौरान राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने कहा कि लंबे अरसे के बाद प्रत्यक्ष रूप से प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन का आयोजन हुआ। यहां भाग लेकर मैं बेहद खुश हूं। दुनियाभर से आई हस्तियों का आभार, जो उन्होंने प्रवासी भारतीयों के लिए आयोजित सम्मेलन में भाग लिया। मुझे उम्मीद है कि जिन्हें भी सम्मान मिला है, यह उन्हें भविष्य में और बेहतर करने के लिए प्रेरित करेगा। यह एक यूनिक प्लेटफॉर्म है, जो भारत और प्रवासी समुदाय को जोड़ता है। महात्मा गांधी नौ जनवरी को भारत लौटे थे और इसी की याद में प्रवासी भारतीय दिवस मनाया जाता है।
Pravasi Bhartiya Divas celebrations वहीं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि मेरा मन भाव-विभोर है। तीन दिन तक आपका साथ रहा। इंदौर आपसे एक रूप हो गया। सचमुच में इंदौर ने तैयारी वैसी की, जैसी बेटी की शादी के लिए करते हैं। बेटी की शादी जैसा इंदौर का स्वागत-सत्कार। जब बेटी की बिदाई होती है तो मन में तकलीफ भी होती है। मैं ‘पधारो म्हारे घर’ कार्यक्रम में गया था। वहां ऐसा लगा जैसे दो परिवार नहीं मिले हों बल्कि दो देश जुड़ गए हों। तीन दिन आनंद, उत्सव और उमंग के थे। तीन दिन कैसे कट गए, पता ही नहीं चला। अब मन सोचकर भारी हो रहा है कि आप चले जाओगे। यहीं रह जाओ न। जो बात इस जगह है, वह कही भी नहीं।
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मुख्यमंत्री ने कहा कि तीन दिन से सब तरफ इंदौर, मध्य प्रदेश और भारत की चर्चा हो रही है। यह कार्यक्रम केवल सरकार का नहीं था। लेकिन इंदौर की जनता ने जी-जान से जुड़कर यह कार्यक्रम किया है। प्रधानमंत्री कह रहे थे कि इंदौर स्वच्छता, स्वाद की राजधानी। इंदौर जनभागीदारी और जनसहभागिता की भी राजधानी है। जाने से पहले हमने आपसे ग्लोबल गार्डन में पेड़ लगाए। हर देश के प्रतिनिधि ने पेड़ लगाया। हमने आपने पेड़ के बंधन से बांध लिया। जिन्होंने पेड़ लगाए, उन्हें क्यूआर कोड भी दे रहे हैं। आप स्कैन करेंगे तो आपका लगाया पेड़ आपको दिखेगा। वह पेड़ आपको आपको हमारी याद दिलाता रहेगा। प्रधानमंत्री ने वसुधैव कुटुम्बकम का मंत्र दिया है। हम इस पर काम कर रहे हैं। विदाई की बेला आ गई है। इंदौर की यादों को लेकर विदा लेना। जब तुम चले जाओगे तो याद बहुत आओगे। तुम बिन लागेगा कन्वेंशन सेंटर सूना। तुम बिन लागेगा राजवाड़ा सूना-सूना। सराफा, राजवाड़ा सूना-सूना। तुम बिन लागेगा इंदौर सूना-सूना। सितारों को आंखों में महफूज रखना, बड़ी दूर तक रात ही रात होगी। मुसाफिर हो तुम भी, मुसाफिर हैं हम भी, फिर किसी मोड़ पर मुलाकात होगी। कसर छोड़ी न थी। पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी लोकप्रियता ही ऐसी है कि हॉल छोटा पड़ गया। दोनों हाथ जोड़कर माफी मांगता हूं। हमारा प्यार दिल में रखकर जाइये और हमें याद रखिये।