Justice DV Ramana News/ Image Credit: @barandbench X Handle
इंदौर: Justice DV Ramana News: मध्य प्रदेश हाई कोर्ट के जस्टिस दुपल्ला वेंकट रमना अपने एक बयान के चलते सुर्ख़ियों में आ गए हैं। जस्टिस दुपल्ला वेंकट रमना ने रिटायरमेंट से पहले इंदौर में आयोजित अपने विदाई समारोह में बड़ा बयान देते हुए कहा कि, 2023 में गृह राज्य आंध्र प्रदेश से गलत इरादे के चलते उनका ट्रांसफर मध्य प्रदेश हाई कोर्ट में किया गया। इतना ही नहीं उन्होंने कहा कि, सुप्रीम कोर्ट से अनुरोध करने पर भी मेरी बात नहीं सुनी गई।
Justice DV Ramana News: जस्टिस रमना ने अपने बयान में आगे कहा कि, “यह मेरे जीवन का एक उल्लेखनीय दौर था, लेकिन बिना कारण आंध्र प्रदेश हाई कोर्ट से मध्य प्रदेश हाई कोर्ट में मेरा ट्रांसफर किया गया। उन्होंने बताया कि, उनकी पत्नी पीएनईएस (पैरोक्सिस्मल नॉन-एपिलेप्टिक सीज़र्स) और COVID-19 के बाद मस्तिष्क संबंधी समस्याओं से जूझ रही थी, जिसके लिए उन्होंने कर्नाटक हाई कोर्ट का विकल्प चुना ताकि उनकी पत्नी को बेहतर इलाज मिल सके। उन्होंने आगे कहा कि, मैंने 19 जुलाई 2024 और 28 अगस्त 2024 को अपनी पत्नी की गंभीर मेडिकल कंडिशन बताते हुए अभ्यावेदन पेश किए थे, लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने ने बिना विचार किए ही अर्जी को खारिज कर दिया।”
Justice DV Ramana News: रमना ने अपने बयान के दौरान दुख जताते हुए कहा, “मुझे कोई जवाब नहीं मिला। एक न्यायाधीश के रूप में मुझे कम से कम मानवीय विचार की उम्मीद थी, मैं बहुत निराश और दुखी हूं।” उन्होंने स्वीकार किया कि वर्तमान चीफ जस्टिस बी. आर. गवई शायद अधिक सहानुभूतिपूर्ण हो सकते थे, लेकिन यह सहानुभूति “बहुत देर से आई, क्योंकि मैं अब सेवानिवृत्त हो रहा हूं।”
इतना ही नहीं एमपी हाईकोर्ट के जस्टिस दुपल्ला वेंकट रमना ने बड़ा दावा करते हुए कहा कि, उनका ट्रासंफर परेशान करने के लिए और गलत इरादे से किया गया था। जस्टिस रमना ने आगे कहा कि, “मुझे स्पष्ट कारणों के बिना अपने गृह राज्य से स्थानांतरित किया गया। मैं उनके अहंकार को संतुष्ट करने में खुश हूं। अब वे सेवानिवृत्त हो चुके हैं, लेकिन भगवान न तो माफ करते हैं और न ही भूलते हैं। वे भी किसी रूप में पीड़ित होंगे।”