ये दोस्ती है ‘जय-वीरु’ वाली! इस नए गठजोड़ से BJP के अंदर क्या बदलेगा?

ये दोस्ती है 'जय-वीरु' वाली! What will change inside the BJP with this new alliance?

Modified Date: November 29, 2022 / 08:48 pm IST
Published Date: August 12, 2021 11:11 pm IST

भोपाल: देश में जिस समय सहदेव के बसपन के प्यार का गाना गुनगुनाया जा रहा है, उस समय बीजेपी के दो बड़े चेहरे सीएम शिवराज और कैलाश विजयवर्गीय ने सालों पुराने शोले फिल्म के गाने ये दोस्ती हम नहीं छोड़ेंगे को गाकर नया सियासी राग छेड़ दिया है। मध्यप्रदेश में कैलाश विजयवर्गीय और शिवराज सिंह चौहान को हमेशा राजनितिक प्रतिस्पर्धी के तौर पर ही देखा जाता है। लेकिन बीजेपी के राष्ट्रीय महासचिव कैलाश विजयवर्गीय विधानसभा परिसर में मंत्रियों-विधायकों के लिए हुई भुट्टा पार्टी में सियासत का अलग ही रंग देखने को मिला। यहां शिवराज और विजयवर्गीय कुछ समय के लिए शोले फिल्म के जय-वीरू बन गए और साथ में गाना भी गया- ये दोस्ती हम नहीं तोड़ेंगे, तेरा साथ ना छोड़ेंगे।

Read More: ‘राहुल गांधी को प्रभारी बना दिया जाए तो भी कांग्रेस यहां नहीं जीत सकती चुनाव’ भाजपा नेता का बड़ा बयान

सीएम शिवराज और कैलाश विजयवर्गीय की मुलाकात और दोस्ती के राग ने सियासी हलचल को नई दिशा दे दी है। दरअसल मध्यप्रदेश में सक्रिय राजनीति में रहते कैलाश विजयवर्गीय ने कई बार अपने घर भुट्टा पार्टी का आयोजन किया, लेकिन इस बार भुट्टा पार्टी में शिव और कैलाश प्रेम की मिलाप की चर्चा रही। मध्य प्रदेश में चल रहे सियासी माहौल के बीच दोनों नेताओ के इस गाने ने नए सुर को छेड़ दिया है, जिसका आनंद तो सब ले रहे है पर इसके साथ ताल नहीं मिला पा रहे है। बीजेपी के इस नए जय-वीरू की जोड़ी को लेकर कांग्रेस जरूर तंज कस रही है।

 ⁠

Read More: ‘कांग्रेस अपने कार्यालय में इंदिरा कैंटीन या नेहरू हुक्का बार खोल ले’ भाजपा नेता का बड़ा बयान

कैलाश विजयवर्गीय जब तक मध्यप्रदेश में राजनीतिक रूप से सक्रिय थे, तब तक हमेशा उनको सीएम के विकल्प के तौर पर देखा जाता था। लेकिन केंद्र की सियासत में जाने के बाद हमेशा चर्चा यही रहती थी कि शायद कैलाश विजयवर्गीय के लिए भोपाल का रास्ता दिल्ली से वापस होकर आएगा। पश्चिम बंगाल के चुनाव के बाद कैलाश विजयवर्गीय की नई भूमिका का इंतजार भी किया जा रहा है। खंडवा उपचुनाव को लेकर कैलाश विजवर्गीय के नाम की चर्चा भी है। ऐसे में भोपाल में उनकी भुट्टा पार्टी से चढ़े सियासी रंग ने कईयों के रंग को भंग कर दिया है। इस गाने के बाद कांग्रेस जहां बीजेपी के अंदर अब ठाकुर और मौसी की तलाश कर रही है तो दूसरी ओर बीजेपी-कांग्रेस में गब्बर को खोज रही है।

Read More: 30 अगस्त तक लॉकडाउन का ऐलान, संक्रमण की स्थिति को देखते हुए इस राज्य की सरकार ने लिया फैसला

बीजेपी में अटल-आडवाणी की जोड़ी, जय-वीरू की जोड़ी से पुरानी जोड़ी मानी जाती है। मध्यप्रदेश में अब तक जय शिवराज के साथ वीरू केंद्रीय मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर को ही देखा जाता है। लेकिन बीजेपी के अंदर नई जय-वीरू की जोड़ी अगर बनी है तो जाहिर सी बात है की दूसरे किरदार को भी तलाशे जाएंगे और इस नए गठजोड़ से बीजेपी के अंदर क्या बदलेगा?

Read More: छत्तीसगढ़ में आज नहीं हुई एक भी कोरोना मरीज की मौत, सिर्फ 98 नए कोरोना मरीजों की पुष्टि


लेखक के बारे में

"दीपक दिल्लीवार, एक अनुभवी पत्रकार हैं, जिन्हें मीडिया इंडस्ट्री में करीब 10 साल का एक्सपीरिएंस है। उन्होंने अपने करियर की शुरुआत एक ऑनलाइन समाचार वेबसाइट से की थी, जहां उन्होंने राजनीति, खेल, ऑटो, मनोरंजन टेक और बिजनेस समेत कई सेक्शन में काम किया। इन्हें राजनीति, खेल, मनोरंजगन, टेक्नोलॉजी, ऑटोमोबाइल और बिजनेस से जुड़ी काफी न्यूज लिखना, पढ़ना काफी पसंद है। इन्होंने इन सभी सेक्शन को बड़े पैमाने पर कवर किया है और पाठकों लिए बेहद शानदार रिपोर्ट पेश की है। दीपक दिल्लीवार, पिछले 5 साल से IBC24 न्यूज पोर्टल पर लीडर के तौर पर काम कर रहे हैं। इन्हें अपनी डेडिकेशन और अलर्टनेस के लिए जाना जाता है। इसी की वजह से वो पाठकों के लिए विश्वसनीय जानकारी के सोर्स बने हुए हैं। वो, निष्पक्ष, एनालिसिस बेस्ड और मजेदार समीक्षा देते हैं, जिससे इनकी फॉलोवर की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। काम के इतर बात करें, तो दीपक दिल्लीवार को खाली वक्त में फिल्में, क्रिकेट खेलने और किताब पढ़ने में मजा आता है। वो हेल्दी वर्क लाइफ बैलेंस करने में यकीन रखते हैं।"