पुणे से सांसद गिरीश बापट का निधन, लंबे समय से थे बीमार |

पुणे से सांसद गिरीश बापट का निधन, लंबे समय से थे बीमार

पुणे से सांसद गिरीश बापट का निधन, लंबे समय से थे बीमार

:   Modified Date:  March 29, 2023 / 06:13 PM IST, Published Date : March 29, 2023/6:13 pm IST

(फोटो के साथ)

पुणे (महाराष्ट्र), 29 मार्च (भाषा) पुणे से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के लोकसभा सदस्य एवं महाराष्ट्र के पूर्व मंत्री गिरीश बापट का लंबी बीमारी के बाद बुधवार को यहां एक अस्पताल में निधन हो गया। पार्टी सूत्रों ने यह जानकारी दी।

72 वर्षीय भाजपा नेता बापट पिछले डेढ़ साल से बीमार थे और उन्हें गंभीर हालत में दीनानाथ मंगेशकर अस्पताल के आईसीयू में भर्ती कराया गया था और वह जीवन रक्षक प्रणाली पर थे।

भाजपा शहर इकाई के अध्यक्ष जगदीश मलिक ने कहा, ‘‘आज एक दुखद दिन है। भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं सांसद गिरीश बापट आज हमें छोड़कर चले गए। पिछले डेढ़ साल से उनका इलाज चल रहा था।’’

बापट का अंतिम संस्कार शाम को वैकुंठ श्मशान घाट पर किया जाएगा। बापट पांच बार पुणे में कस्बा पेठ निर्वाचन क्षेत्र से विधायक रहे। वह 2019 में लोकसभा के लिए चुने गए थे।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने बापट के निधन पर शोक प्रकट किया और कहा कि उनके अच्छे काम लोगों को प्रेरित करते रहेंगे।

मोदी ने ट्वीट किया, ‘‘गिरीश बापट जी एक विनम्र और मेहनती नेता थे, जिन्होंने लगन से समाज की सेवा की। उन्होंने महाराष्ट्र के विकास के लिए बड़े पैमाने पर काम किया और विशेष रूप से पुणे के विकास को लेकर वह कटिबद्ध थे। उनका निधन दुखद है। उनके परिवार और समर्थकों के प्रति संवेदना।’’

बापट अंतिम बार 26 फरवरी को सार्वजनिक तौर पर देखे गए थे जब वह व्हीलचेयर पर बैठकर कस्बा पेठ विधानसभा उपचुनाव के लिए वोट डालने पहुंचे थे। तब विपक्ष ने भाजपा पर बापट के स्वास्थ्य के साथ खिलवाड़ करने का आरोप लगाया था।

खराब स्वास्थ्य के बावजूद बापट ने केसरीवाड़ा में भाजपा कार्यकर्ताओं को संक्षिप्त तौर पर संबोधित किया था।

भाजपा के वरिष्ठ नेता के विपक्षी नेताओं के साथ भी अच्छे संबंध थे और पुणे जिले के कई नेता उन्हें एक संरक्षक के रूप में देखते थे।

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) के प्रमुख शरद पवार ने कहा कि बापट के निधन का समाचार अत्यंत दुखद है। शरद पवार ने ट्वीट किया, ‘‘बापट ने अपने चार दशक पुराने राजनीतिक करियर में हमेशा सर्व-समावेशी दृष्टिकोण अपनाया।’’

कस्बा पेठ उपचुनाव जीतने के बाद कांग्रेस उम्मीदवार रवींद्र धंगेकर बापट का आशीर्वाद लेने उनके आवास पहुंचे थे। महाराष्ट्र भाजपा अध्यक्ष चंद्रशेखर बावनकुले ने कहा कि बापट का निधन पार्टी के लिए बड़ी क्षति है।

भाजपा के वरिष्ठ नेता एवं महाराष्ट्र में कैबिनेट मंत्री चंद्रकांत पाटिल ने कहा कि बापट उनके लिए गुरु और पिता तुल्य थे। पाटिल ने कहा कि बापट कई भाजपा कार्यकर्ताओं एवं उनके साथी नेताओं के लिए गुरु की तरह थे।

उन्होंने कहा, ‘‘यह जीवन से किसी पिता तुल्य व्यक्ति के चले जाने जैसा है। पार्टी लाइन से परे उनकी दोस्ती और लोगों एवं पार्टी कार्यकर्ताओं के साथ उनके संबंध उन्हें सबसे अलग बनाते थे। वह पार्टी और उसके विकास के लिए समर्पित थे। उनका निधन पार्टी के लिए बड़ी क्षति है।’’

नेता प्रतिपक्ष अजित पवार ने कहा कि पुणे जिले ने एक ऐसा नेता खो दिया है जो सबको साथ लेकर चलने में विश्वास रखता था। उन्होंने एक बयान में कहा, ‘बापट के निधन से राजनीति का एक संस्कारी चेहरा खो गया है।’’

भाजपा के राज्यसभा सदस्य और पुणे से आने वाले पूर्व केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि महाराष्ट्र ने बापट के तौर पर एक ईमानदार पार्टी कार्यकर्ता खो दिया है। उन्होंने कहा, ‘‘मैं और बापट स्कूल के दिनों से साथ थे और आज मैं हमारा 58 साल का साथ खत्म होने से दुखी हूं।’’

जावड़ेकर ने कहा कि बापट सार्वजनिक जीवन में कई पदों पर रहे। उन्होंने पुणे नगर निगम (पीएमसी) में स्थायी समिति के प्रमुख के रूप में कार्य किया और विधायक और सांसद बने। जावड़ेकर ने कहा, ‘‘उन्होंने हमेशा पुणे से जुड़े मुद्दों पर प्रकाश डाला।’

तीन सितंबर, 1950 को पुणे जिले के तलेगांव दाभाडे में जन्मे बापट ने अपने शुरुआती वर्षों में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के साथ काम किया। आपातकाल के दौरान वे 19 महीने नासिक जेल में बंद रहे। वह 1983 में पीएमसी के पार्षद बने और 12 साल बाद कस्बा पेठ निर्वाचन क्षेत्र से विधायक चुने गए।

उन्होंने देवेंद्र फडणवीस (2014-19) के नेतृत्व वाली तत्कालीन महाराष्ट्र सरकार में खाद्य, नागरिक आपूर्ति, उपभोक्ता संरक्षण, खाद्य और औषधि प्रशासन और संसदीय मामलों के मंत्री के रूप में कार्य किया।

पुणे के राकांपा नेता एवं बापट के साथ निकटता से जुड़े रहे अंकुश काकड़े ने कहा, ‘‘मैं, बापट और कांग्रेस नेता शांतिलाल सूरतवाला पिछले 30 से 40 वर्षों से घनिष्ठ मित्र थे। मुझे दुख है कि इतने वर्षों से हमारा जुड़ाव आज समाप्त हो गया है। पिछले कई दिनों से वह बीमारियों से पीड़ित थे और अस्पताल में उनका डायलिसिस चल रहा था।’’

बापट को श्रद्धांजलि देने के लिए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे और उपमुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस के पुणे आने की संभावना है।

बापट के पार्थिव शरीर को शनिवार पेठ स्थित उनके आवास पर दोपहर से शाम छह बजे तक रखा जाएगा।

महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री शिंदे ने अपने शोक संदेश में कहा, ‘‘एक सर्व-समावेशी, उदार नेतृत्व खो गया है। बीमारी से लड़ते हुए, बापट ने अपनी पार्टी को ऊर्जा देने की दिशा में काम किया और एक विधायक, सांसद और मंत्री के रूप में, उन्होंने हमेशा आम लोगों के मुद्दों को हल करने का बीड़ा उठाया। उनकी मित्रता विभिन्न दलों के लोगों के साथ थी।’’

पिछले महीने पुणे शहर के अपने दौरे के दौरान, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने बापट से उनके आवास पर मुलाकात की थी।

भाषा अमित पवनेश

पवनेश

 

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