#SarkarOnIBC24: कुंभ जाएगी साय सरकार.. Congress करे इंकार, Charan Das Mahant का बयान.. सनातन पर घमासान
Politics On MahaKumbh In CG: मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में प्रयागराज महाकुंभ पर सियासत गरमा गई। छत्तीसगढ़ में साय कैबिनेट का भी महाकुंभ का प्लान
Politics On MahaKumbh In CG/ Image Credit: IBC24
- देश में आज दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजों की गूंज रही।
- मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में प्रयागराज महाकुंभ पर सियासत गरमा गई।
- छत्तीसगढ़ में साय कैबिनेट का भी महाकुंभ का प्लान बन गया
रायपुर: Politics On MahaKumbh In CG: देश में आज दिल्ली विधानसभा चुनाव के नतीजों की गूंज रही तो वहीं मध्यप्रदेश और छत्तीसगढ़ में प्रयागराज महाकुंभ पर सियासत गरमा गई। सीएम मोहन यादव ने गंगा नदी में आस्था की डुबकी लगाई तो वहीं छत्तीसगढ़ में साय कैबिनेट का भी महाकुंभ का प्लान बन गया, लेकिन इसी बीच नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत के महाकुंभ स्नान से इंकार पर दिया जिस पर जुबानी तलावारे टकराने लगी।
Politics On MahaKumbh In CG: प्रयागराज महाकुंभ अपने पूरे शबाब पर है। क्या आम और क्या खास सभी 144 साल बाद आए इस खास मौके पर आस्था की डुबकी लगा रहे हैं। मध्यप्रदेश के सीएम मोहन यादव और राजस्थान के सीएम भजनलाल ने अपनी पूरी कैबिनेट के साथ महाकुंभ में स्नान किया, तो वहीं छत्तीसगढ़ में साय कैबिनेट भी 13 फरवरी को महाकुंभ के लिए रवाना हो रही है। दरअसल विधानसभा अध्यक्ष डॉ रमन सिंह ने छत्तीसगढ़ के सभी सांसदों, विधायकों और साय कैबिनेट को महाकुंभ स्नान के लिए आमंत्रित किया है। जिस पर सियासत भी शुरू हो गई है। नेता प्रतिपक्ष चरणदास महंत ने इसमें शामिल से इंकार कर दिया है।
महंत ने कहा ‘विधानसभा अध्यक्ष के आमंत्रण की मुझे जानकारी मिली है। मैं अपनी निजी व्यस्तता के चलते कुंभ स्नान के लिए नहीं जाउंगा। बाकि, कांग्रेस विधायक कुंभ स्नान के लिए जाने या नहीं जाने स्वतंत्र हैं। हम पहले भी कुंभ स्नान करते रहे हैं। कुंभ स्नान करना या नहीं करना दिखावे का विषय नहीं है।”
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Politics On MahaKumbh In CG: नेता प्रतिपक्ष महंत के महाकुंभ नहीं जाने की बात को बीजेपी ने मुद्दा बना लिया। उन पर जुबानी हमले शुरू हो गए। चरणदास महंत के कुंभ नहीं जाने को लेकर बीजेपी ने घेरा तो महंत ने भी बीजेपी पर पलटवार किया।
धर्म और आस्था निजी विषय है, लेकिन जब देश पर धर्म की सियासत हावी हो तो नेताओं का इससे जुड़ा कोई भी कदम राजनीति से अछूता नहीं रहता। चाहे बात अयोध्या में राम मंदिर के दर्शन की हो या प्रयागराज महाकुंभ में डुबकी लगाने या नहीं लगाने की।
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