नयी दिल्ली, 20 दिसंबर (भाषा) सुरुचि सिंह, सम्राट राणा और सिमरनप्रीत कौर बराड़ ने वर्ष 2025 में भारतीय निशानेबाजी में अपनी विशेष छाप छोड़ी। इस वर्ष भारतीय निशानेबाजों ने प्रत्येक रंग का पदक हासिल किया और यह साल कई युवाओं के उभरने का गवाह बना।
पिछले कुछ वर्षों में निशानेबाजी का खेल भारत के लिए सबसे अधिक पदक हासिल करने वाले खेलों में से एक के रूप में उभरा है। यह खेल अब छोटे शहरों में लोकप्रिय होता जा रहा है जिससे भारत को कई शानदार प्रतिभाएं मिली हैं।
भारतीय निशानेबाजों के अच्छे प्रदर्शन की शुरुआत ब्यूनस आयर्स में हुई, जहां भारत ने चार स्वर्ण, दो रजत और इतने ही कांस्य पदक जीते। सुरुचि ने इस सत्र में विश्व कप में शीर्ष स्थान हासिल करके अपनी असाधारण प्रतिभा की झलक दिखाई।
झज्जर की इस युवा निशानेबाज ने विश्व कप में चार स्वर्ण पदक जीते थे और दोहा में सत्र की अंतिम प्रतियोगिता विश्व कप फाइनल्स में भी शीर्ष स्थान हासिल किया था।
करनाल के रहने वाले 20 वर्षीय सम्राट राणा ने पुरुषों की एयर पिस्टल स्पर्धा में कुछ सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ियों को हराकर काहिरा में विश्व चैंपियन का खिताब जीता और इस तरह से यह उपलब्धि हासिल करने वाले देश के पहले खिलाड़ी बने।
इस साल एयर राइफल निशानेबाज रुद्रांक्ष पाटिल, 25 मीटर रैपिड फायर विशेषज्ञ अनीश भानवाला, एयर पिस्टल निशानेबाज वरुण तोमर और 25 मीटर पिस्टल निशानेबाज सिमरनप्रीत कौर बराड़ जैसे खिलाड़ियों ने विश्व कप, विश्व चैंपियनशिप, एशियाई चैंपियनशिप और विश्व कप में शानदार प्रदर्शन किया।
लेकिन कोई भी सुरुचि और सम्राट की सफलता की बराबरी नहीं कर पाया।
हवलदार की बेटी सुरुचि 2028 के लॉस एंजिल्स ओलंपिक में संभावित पदक विजेता के रूप में उभरी हैं। इस साल अपने शानदार प्रदर्शन से सुरुचि आईएसएसएफ रैंकिंग में पहले स्थान पर पहुंच गई। उन्हें अगले ओलंपिक के लिए कोटा हासिल करने का प्रमुख दावेदार माना जा रहा है।
इस साल की दूसरी सबसे बड़ी उपलब्धि सम्राट की रही, जिन्होंने नवंबर में काहिरा में अपने अनुभवी प्रतिद्वंद्वियों को पछाड़कर विश्व चैंपियन बनने का गौरव हासिल किया। सम्राट ने 2022 में काहिरा में जूनियर विश्व चैंपियन बनकर अंतरराष्ट्रीय मंच पर अपनी पहचान बनाई थी।
तीन साल बाद उन्होंने इस प्रतियोगिता में सीनियर वर्ग में स्वर्ण पदक जीता, जिसने उन्हें अभिनव बिंद्रा, मानवजीत संधू और रुद्रांक्ष पाटिल जैसे दिग्गजों की विशिष्ट सूची में शामिल कर दिया।
फरीदकोट की 25 मीटर पिस्टल निशानेबाज सिमरनप्रीत कौर ने दोहा में विश्व कप फाइनल्स में स्वर्ण पदक जीता। इस प्रतियोगिता के महिला वर्ग में भारत ने अपना अब तक का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन करते हुए दो स्वर्ण, तीन रजत और एक कांस्य पदक जीता।
इस बीच अनीश भानवाला ने 25 मीटर रैपिड फायर पिस्टल में बड़ी प्रतियोगिताओं में पदक जीतने की पहेली को सुलझा लिया है। राष्ट्रमंडल खेल 2018 में स्वर्ण पदक जीतने वाले सबसे कम उम्र के इस भारतीय खिलाड़ी ने काहिरा में विश्व चैंपियनशिप में रजत पदक जीता। उन्होंने दोहा में विश्व कप फाइनल्स में भी दूसरा स्थान हासिल किया।
अनुभवी ट्रैप निशानेबाज जोरावर सिंह ने एथेंस में विश्व चैंपियनशिप में कांस्य पदक जीतकर सफलता का स्वाद चखा। 48 वर्षीय जोरावर दिग्गज करणी सिंह और पूर्व विश्व चैंपियन मानवजीत सिंह के बाद विश्व चैंपियनशिप की ट्रैप स्पर्धा में पदक जीतने वाले भारत के तीसरे निशानेबाज बन गए हैं।
भारत के युवा निशानेबाजों के शानदार प्रदर्शन से ओलंपिक में दो कांस्य पदक जीतने वाली विजेता मनु भाकर भी फीकी पड़ गईं। इस 23 वर्षीय स्टार निशानेबाज का वर्ष 2025 में सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन विश्व कप में व्यक्तिगत एयर पिस्टल स्पर्धा में रजत पदक रहा।
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