नवरात्र का तीसरा दिन, मां चंद्रघंटा की आराधना से खत्म हो जाते हैं समस्त पाप और बाधाएं

नवरात्र का तीसरा दिन, मां चंद्रघंटा की आराधना से खत्म हो जाते हैं समस्त पाप और बाधाएं

नवरात्र का तीसरा दिन, मां चंद्रघंटा की आराधना से खत्म हो जाते हैं समस्त पाप और बाधाएं
Modified Date: November 29, 2022 / 08:47 pm IST
Published Date: October 1, 2019 3:14 am IST

रायपुर। आज नवरात्र का तीसरा दिन है आज के दिन मां के चंद्रघंटा रुप की आराधना की जा रही है। नवरात्र की उपासना में तीसरे दिन इनकी पूजा का विशेष महत्व है। मां चंद्रघंटा के मस्तक पर घंटे का आकार का अर्धचंद्र है। इसी कारण से इन्हें चंद्रघंटा देवी कहा जाता है।

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इनके शरीर का रंग सोने के समान चमकीला है इनके दस हाथ हैं। इनके दसों हाथों में शस्त्र-अस्त्र विभूषित हैं। इनका वाहन सिंह है। माता चंद्रघंटा युद्ध की मुद्रा में प्रतीत होती हैं। सभी देवताओं के तेज से इस कल्याणकारी देवी की प्रादुर्भाव हुआ है। सभी देवताओं ने देवी को अस्त्र-शस्त्र अर्पित किए है।

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मां चंद्रघंटा की कृपा से साधक के समस्त पाप और बाधाएं नष्ट हो जाती हैं। इनकी आराधना फलदायी है। मां चंद्रघंटा की बहुविध पूजा के बाद गौ दूध के बने पदार्थों का भोग लगाएं। माता के साधकों को आज के दिन भूरे और सफेद रंग के वस्त्र धारण करना चाहिए।

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