Face To Face Madhya Pradesh: आंकड़ों का विरोधाभास... आयोग पर अविश्वास! चुनाव आयोग के सिस्टम पर उठाए जा रहे सवाल.. | MP Politics

Face To Face Madhya Pradesh: आंकड़ों का विरोधाभास… आयोग पर अविश्वास! चुनाव आयोग के सिस्टम पर उठाए जा रहे सवाल..

MP Politics: Face To Face Madhya Pradesh: आंकड़ों का विरोधाभास... आयोग पर अविश्वास! चुनाव आयोग के सिस्टम पर उठाए जा रहे सवाल

Edited By :   Modified Date:  May 22, 2024 / 09:49 PM IST, Published Date : May 22, 2024/9:49 pm IST

MP Politics: भोपाल। कहा जाता है कि कण-कण में ईश्वर है और अगर ऐसा है। जब से चुनाव शुरू हुआ है। तब से चुनाव आयोग के सिस्टम पर सवाल उठाए जा रहे हैं। कांग्रेस ने चुनाव आयोग से ये पूछा है कि वोटिंग वाले दिन के आंकड़ों और चुनाव आयोग के अंतिम आंकड़ों में इतना बड़ा अंतर कैसे हैं? और इन अंतिम आंकड़ों को जारी करने में इतनी देरी क्यों है?

Read more: Internet consumption: 5G यूजर्स की संख्या 2029 तक हो जाएगी 86 करोड़! मोबिलिटी रिपोर्ट में हुआ बड़ा खुलासा, डेटा खपत के मामले में भारत होगा सबसे आगे 

लोकसभा चुनाव के 5 चरण खत्म हो जाने के बाद चुनाव आयोग के कुछ फैसलों पर विपक्षी दलों और खास कर कांग्रेस ने सवाल खड़े कर दिए हैं और विपक्ष का सवाल ये है कि मतदान पूरा होने के बाद सेम डे वोटिंग प्रतिशत के आंकड़े और अंतिम आंकड़े। जिसे चुनाव आयोग जारी करता है। उसमें 4 से लेकर 6% वोटों का अंतर क्यों है?

ट्वीट कर चुनाव आयोग से रियल टाइम और संशोधित आंकड़ों में आ रहे अंतर की वजह को साफ करने का आग्रह किया है। आंकड़ों की बात करें तो एमपी में चुनाव आयोग के जारी अंतिम आंकड़ों में 18 लाख 4 हजार 445 वोट का अंतर है और कांग्रेस दबे स्वर में यही कह रही है कि गड़बड़ी यहीं हो सकती है। इधर बीजेपी का कहना है कि चुनाव में हार के डर से अब कांग्रेस इस तरह की बातें कर रही है।

इधर मतदान खत्म होने के 48 घंटे के अंदर वोटिंग प्रतिशत के आखिरी आकंड़े जारी करने की मांग का मामला भी सुप्रीम कोर्ट में है, जिस पर चुनाव आयोग को 24 मई तक जवाब पेश करना है। हालांकि चुनाव आयोग का तर्क है कि देश में कितने ही पोलिंग स्टेशन ऐसे हैं जो दूर-दराज, पहाड़ी और घने जंगलों में बनाए गए हैं, जहां पोलिंग पार्टियों को पहुंचने और वापस लौटने में देरी हो जाती है। आंकड़ों की ये जानकारी टेलिफोन पर नहीं ली जा सकती। क्योंकि RO की संतुष्टि के बाद ही डेटा अपलोड करते हैं। इसीलिए 48 घंटे के अंदर अंतिम डेटा जारी करना असंभव है।

Read more: CG Ki Baat: सुनामी वाली सियासत जारी.. दावों पर जंग भारी! नारा या नैरेटिव, क्या लगेगी जीत की हैट्रिक? देखें रिपोर्ट 

MP Politics: पिछले दो चुनावों के परिणामों के बाद जाहिर तौर पर विपक्ष इस बार ज्यादा सतर्क है। वो पूरी प्रक्रिया को शक-सुबहे की दृष्टि से भी देख रहा है और जहां भी कहीं आशंका हो सवाल भी उठा रहा है। उसको ऐसा करने का हक भी विपक्ष को है, पर साथ भी ये भी ध्यान रखा जाना जरूरी होगा कि अगर बार-बार चुनाव को कटघरे में खड़ा जाएगा। तो ये कहीं न कहीं लोकतंत्र के प्रति जनता के भरोसे को चोट पहुंचाएगा।

 

 

 

IBC24 की अन्य बड़ी खबरों के लिए हमारे फेसबुक फेज को भी फॉलो करें

IBC24 की अन्य बड़ी खबरों के लिए यहां क्लिक करें

Follow the IBC24 News channel on WhatsApp