तुर्की ने यूरोपीय संघ की एक अदालत द्वारा बुर्के पर पाबंदी लगाए जाने के फैसले की आलोचना की

तुर्की ने यूरोपीय संघ की एक अदालत द्वारा बुर्के पर पाबंदी लगाए जाने के फैसले की आलोचना की

तुर्की ने यूरोपीय संघ की एक अदालत द्वारा बुर्के पर पाबंदी लगाए जाने के फैसले की आलोचना की
Modified Date: November 29, 2022 / 08:10 pm IST
Published Date: July 18, 2021 2:52 pm IST

इस्तांबुल, 18 जुलाई (एपी) तुर्की के राष्ट्रपति रजब तैयब एर्दोआन के प्रवक्ता ने रविवार को यूरोपीय संघ की एक अदालत द्वारा बुर्के पर पाबंदी लगाए जाने के फैसले की आलोचना की। इस फैसले में अदालत ने नियोक्ताओं को कर्मचारियों के बुर्का पहनने पर रोक लगाने की अनुमति प्रदान की है।

प्रवक्ता इब्राहिम कलीन ने ट्वीट किया, ” कार्यस्थल पर बुर्का पहनने संबंधी रोक लगाने का यूरोपीय न्याय अदालत का निर्णय मुस्लिम महिलाओं के अधिकारों पर एक और हमला है। इस फैसले से यूरोप में इस्लाम के खिलाफ जंग छेड़ने वालों को और मजबूती मिलेगी। क्या अब मुसलमानों को धार्मिक स्वतंत्रता की अवधारणा से अलग कर दिया गया है? ”

यूरोपीय न्याय अदालत ने बृहस्पतिवार को दिए फैसले में कहा था कि अगर कंपनी चाहे तो अपने उपभोक्ताओं या ग्राहकों के संदर्भ में राजनीतिक, दार्शनिक और धार्मिक तटस्थता की नीति को अपनाने के मद्देनजर अपने कर्मचारियों के राजनीतिक और धार्मिक पहचान के पहनावे पर रोक लगा सकती है।

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तुर्की के विदेश मंत्रालय ने रविवार को जारी बयान में इस निर्णय को ”इस्लामोफोबिया, नस्लवाद और नफरत” से प्रेरित करार दिया।

एपी शफीक नरेश

नरेश


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