#NindakNiyre: संघ का सैंटा मसीहियों के मन में जगाना चाहता है अपने लिए प्रेम
#NindakNiyre: संघ का सैंटा मसीहियों के मन में जगाना चाहता है अपने लिए प्रेम : Nindak Niyare : RSS Santa will give gift of hindutva harmony
बरुण सखाजी, राजनीतिक विश्लेषक
राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ ने घोषणा की है कि वह क्रिसमस पर मसीही समाज के लिए विशेष भोज आयोजित करेगा। हिंदुत्व से भारतीयता तक की यह यात्रा संघ को नया संघ बना रही है। हिंदुत्व की जितनी व्यापक परिभाषा वर्तमान संघ प्रमुख ने दी है वह अब तक किसी ने नहीं दी। मोहन भागवत हिंदुत्व केंद्रित राष्ट्रीयता को लेकर स्पष्ट हैं। वे मध्येशिया से लेकर हिंद महासागर तक के लोगों का डीएनए एक बताते हैं। इस लिहाज से समझा जा सकता है कि संघ देर-सवेर न उन मुसलमानों को छोड़ना चाहता है जो भारतभूमि में रह रहे हैं न उन ईसाइयों को या अन्य पंथों को। संघ का राजनीतिक चेहरा भाजपा वोट, चुनाव, हार-जीत में उलझ सकता है, लेकिन संघ नहीं। संघ असल में धर्मांतरण पर हर तरफ से घेराबंदी करना चाहता है। यह भोज इसी का एक अंग है।
कानून का चिमटा
संघ धर्मांतरण पर सख्त और क्रियाशील कानून बनाने पर जोर दे रहा है। यह राज्यों से भी बने और केंद्र से भी। ताकि लोभ, लालच देकर धर्मांतरण करने वालों के पास कोई रास्ता न रहे।
अदालती रास्तों पर काम
धर्मांतरण को लेकर सुप्रीम कोर्ट में मामला है। क्षेत्रीय अदालतों में भी मामले लगवाने की तैयारी है। यह इसलिए ताकि कोर्ट स्वयं धर्मांतरण पर रोक लगाने के लिए सरकार को कानून बनाने को कहे।
Read More : मुंबई इंडियंस को मिला विदेशी धाकड़ बल्लेबाज, 17.50 करोड़ में खरीदा, भारतीय दौरे पर बरपाया था कहर
हिंदू आदिवासी समाज में विश्वास जागरण
देश के विभिन्न वन्यक्षेत्रों में रह रहे आदिवासी समाज के लोगों में विश्वास जगाना। इसके लिए भाजपा की सरकारों और संघ के अपने ढांचों के जरिए आदिवासी महापुरुषों की गौरव गाथाएं बताई जा रही हैं। यहां पर ऐसे महापुरुषों को बड़ा और गर्वित चेहरे के रूप में पेश किया जा रहा है, जिनकी समाज में स्वीकार्यता है। यह इसलिए ताकि जो आदिवासी हिंदू हैं अभी, वे स्वयं में हिंदी भाव लाएं।
ईसाई आदिवासियों के साथ सैंटा बनना
इसके साथ रही ईसाई आदिवासियों के साथ संघ सैंटा बनकर संवाद करना चाहता है। संघ चाहता है जो धर्मांतरित हो चुके हैं उनमें अपने आसपास गौरवान्वित और गर्वित हिंदू आदिवासियों को देखकर वापसी का भाव जागे। उनमें उपेक्षा नहीं समानता की चाहत दिखे। संघ सैंटा बनकर ऐसे धर्मांतरितों में हिंदुत्व के लिए सॉफ्टकॉर्नर विकसित करना चाहता है, ताकि धर्मांतरण में संलग्न एजेंसियां अगर कोई प्रलोभन, लालच, सेवा, राजनीतिक वितंडा खड़ा करके कोई धर्मांतरण करना भी चाहें तो उन्हें जनसमर्थन न मिले।

Facebook



