सरकार ने कंपनियों से लघु एवं मझोले उपक्रमों के बकाया का भुगतान प्राथमिकता के आधार पर करने को कहा

सरकार ने कंपनियों से लघु एवं मझोले उपक्रमों के बकाया का भुगतान प्राथमिकता के आधार पर करने को कहा

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  • Publish Date - September 14, 2020 / 09:33 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 08:29 PM IST

नयी दिल्ली, 14 सितंबर (भाषा) सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उपक्रम (एमएसएमई) मंत्रालय ने कंपनियों से कहा है कि वे लघु एवं मझोले उपक्रमों के बकाया का भुगतान प्राथमिकता के आधार पर करें।

मंत्रालय की ओर से सोमवार को जारी बयान में कहा गया है कि लघु एवं मझोले उपक्रमों के परिचालन और नौकरियों के संरक्षण के लिए महत्वपूर्ण है कि उनके बकाया का भुगतान जल्द किया जाए।

मंत्रालय ने देश के शीर्ष 500 कॉरपोरेट समूहों के साथ यह मुद्दा खुद उठाया है। मंत्रालय की ओर से इन कंपनियों के मालिकों, चेयरमैन एवं प्रबंध निदेशकों तथा शीर्ष कार्यकारियों को इस बारे में ई-पत्र भेजा गया है।

बयान में कहा गया है, ‘‘इस भुगतान से लाखों ऐसे चेहरों पर खुशी लौट सकेगी जिनकी आजीविका का जरिया एमएसएमई क्षेत्र का उपक्रम है।’’ एमएसएमई मंत्रालय ने संकेत दिया है कि वह आगे सोशल मीडिया के माध्यम से अन्य कंपनियों के साथ भी यह मुद्दा उठाएगा।

आत्मनिर्भर भारत पैकेज की घोषणा के समय कहा गया था कि एमएसएमई क्षेत्र के बकाया का भुगतान 45 दिन में किया जाना चाहिए। बताया जाता है कि मंत्रालयों और सार्वजनिक क्षेत्र उपक्रमों को एमएसएमई इकाइयों का करीब 10,000 करोड़ रुपये का भुगतान करना है।

एमएसएमई मंत्रालय ने अब देश के निजी क्षेत्र के उपक्रमों से कहा है कि वे एमएसएमई इकाइयों के बकाया को प्राथमिकता के आधार पर जारी करें।

भाषा अजय अजय

अजय