नयी दिल्ली, 25 जुलाई (भाषा) चमड़ा निर्यात परिषद (सीएलई) ने बृहस्पतिवार को कहा कि बजट में चमड़ा क्षेत्र पर सीमा शुल्क को युक्तिसंगत बनाने से अधिक रोजगार सृजित करने तथा निर्यात को बढ़ावा देने में मदद मिलेगी।
सीएलई ने कहा कि कामकाजी महिलाओं के लिए छात्रावासों की स्थापना, शिशु गृहों की स्थापना तथा महिलाओं के लिए विशेष कौशल कार्यक्रमों के लिए बजट में की गई घोषणा से इस क्षेत्र में महिला कार्यबल में और वृद्धि होगी।
सीएलई के चेयरमैन राजेंद्र कुमार जालान ने कहा कि रोजगार से जुड़ी प्रोत्साहन योजना चमड़ा तथा फुटवियर क्षेत्र के लिए एक प्रमुख सहायता उपाय है, क्योंकि यह एक श्रम-गहन क्षेत्र है।
उन्होंने कहा, ‘‘केंद्रीय बजट में चमड़ा तथा फुटवियर क्षेत्र के लिए दो प्रमुख उपायों की घोषणा की गई है। एक है चमड़े पर निर्यात शुल्कों को युक्तिसंगत बनाना तथा दूसरा है चमड़े के परिधानों, चमड़ा उत्पादों तथा फुटवियर निर्यातकों के लिए शुल्क मुक्त योजना के अंतर्गत वेट ब्लू क्रोम टैंड लेदर, वेट व्हाइट लेदर, क्रस्ट लेदर तथा तैयार लेदर सहित अधिक इनपुट को शामिल करना।’’
भाषा राजेश राजेश अजय
अजय