इस टेलीकॉम कंपनी के शेयर खरीदने जा रही भारत सरकार, डील होते ही बन जाएगी इतने फीसदी स्टॉक की मालिक

टेलिकॉम सेक्टर में बढ़ते घाटे को मुनाफे में बदलने के लिए आइडिया टेलिकम नेवर्क्स ने वोडाफोन से हांथ मिलाया था । लेकिन प्रॉफिट में कोई फर्क नजर नही आ रहा है। आपको बता दें कि भारत सरकार ने वोडो फोन आइडिया के घटते मुनाफे को देखते हुए भारत सरकार ने कंपनी के शेयर खरीदने का मन बनाया है।

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  • Publish Date - September 9, 2022 / 10:50 AM IST,
    Updated On - November 29, 2022 / 07:52 PM IST

Vodafone Idea Share Update: टेलिकॉम सेक्टर में बढ़ते घाटे को मुनाफे में बदलने के लिए आइडिया टेलिकम नेवर्क्स ने वोडाफोन से हांथ मिलाया था । लेकिन प्रॉफिट में कोई फर्क नजर नही आ रहा है। आपको बता दें कि भारत सरकार ने वोडो फोन आइडिया के घटते मुनाफे को देखते हुए भारत सरकार ने कंपनी के शेयर खरीदने का मन बनाया है। भारत सरकार ने आइडिया और वोडोफोन के सामने एक शर्त भी रखी है। जिसमें कहा है कि वोडाफोन को शेयर के दामो मे लानी होगी स्टेबिलिटी। कम से कम 10 रुपये के उपर होने चाहिए शेयर। फिलहाल गुरुवार को कारोबार खत्म होने पर वोडाफोन आइडिया का शेयर 0.51 फीसदी की गिरावट के साथ 9.70 रुपये पर बंद हुआ है।

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शेयर में हिस्सेदारी देकर चुकागी कर्ज

सिक्यूरिटी ऑफ एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया  के नियमो के अनुसार अधिग्रहित की जाने वाली कंपनी का शेयर के वैल्यू के आधार पर अधिग्रहण किया जाना चाहिए। केंद्र सरकार के मुताबिक यदि वोडाफोन के शेयर 10 रुपये से उपर होते हैं तो सरकार कंपनी के शेयर खरीद कर कंपनी के मालिकाना हक में हिस्सेदारी के पर्शेंटेज के लिए बात करेगी। आपको बता दें कि वोडोफोन आइडिया पर भारत सरकार के लगभर 16000 करोड़ का ब्याज बकाया है। जिसको कंपनी ने शेयर देकर चुकाने का फैसला ले लिया है।

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डील होते ही 33 फीसदी शेयर की मालिक होगी सरकार 

भारत सरकार की कंपनी से डील होते ही सरकार 33 फीसदी शेयर की मालिक होगी। यानि सरकार के पास कंपनी की 33 फीसदी हिस्सेदारी होगी। जिसके बाद इससे प्रोमोटर की हिस्सेदारी भी कंपनी में 74.99 फीसदी से घटकर 50 फीसदी रह जाएगी। सरकार ने बीते साल टेलीकॉम कंपनियों को दिए गए राहत पैकेज में स्पेक्ट्रम की किस्त और एजीआर के बकाया रकम पर ब्याज को चार साल में चुकाने का विकल्प दिया था। लेकिन

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