bhumkal smriti diwas: Tried to bring tribal sentiments on one platform?

गुंडाधूर की याद…आदिवासियों की हुंकार! इस आयोजन के जरिए आदिवासी सेंटीमेंट को एक मंच पर लाने की कोशिश की गई?

इस आयोजन के जरिए आदिवासी सेंटीमेंट को एक मंच पर लाने की कोशिश की गई?! bhumkal smriti diwas: Tried to bring tribal sentiments on one platform?

Edited By :   Modified Date:  November 29, 2022 / 08:46 PM IST, Published Date : February 10, 2022/10:09 pm IST

रायपुर: bhumkal smriti diwas भूमकाल स्मृति दिवस के मौके पर बस्तर में एक बार फिर सर्व आदिवासी समाज एकजुट हुआ और शहीद वीर गुंडाधूर को श्रद्धांजलि दी। 22 फरवरी तक चलने वाले इस आयोजन के पहले दिन बस्तर में अलग-अलग हिस्सों में स्थानीय इकट्ठा हुए और आदिवासी ताकत और एकजुटता का प्रदर्शन हुआ। ऐसे में जब प्रदेश में अगले साल ही विधानसभा चुनाव होने हैं और सत्ता की रेस में बस्तर की भूमिका राजनीतिक दल अच्छे से समझते हैं। लिहाजा आयोजन को लेकर सियासी गलियारों में चर्चा होना भी जायज है।

Read More: नौकरी की टेंशन खत्म! शुरू करें यह बिजनेस, होगी 5 लाख तक की कमाई, सरकार भी करेगी आपकी मदद 

bhumkal smriti diwas हालांकि सर्व आदिवासी समाज अब तक खुले तौर पर किसी सियासी दल के सपोर्ट में खड़ा नहीं दिखाई देता। लेकिन वीर शहीद गुंडाधूर की याद में आदिवासियों की बड़ी लामबंदी और नेताओं की हुंकार कई इशारे जरूर करती है। लेकिन बड़ा सवाल ये है कि क्या इस आयोजन के जरिए आदिवासी सेंटीमेंट को एक मंच पर लाने की कोशिश की गई? क्या सर्व आदिवासी समाज के जरिए एक पृथक राजनीतिक ताकत बनने की कोशिश? क्या मौजूदा परिस्थितियों के साथ ही आगे बढ़ेगा आदिवासी समाज? या फिर कांग्रेस-बीजेपी को राजनीति तौर पर चुनौती पेश करेंगे?

Read More: इन इलाकों में फिर हो सकती है बारिश, बढ़ेगी ठंड, मौसम विभाग ने जारी किया येलो अलर्ट