चित्रकोट/जगदलपुर। छत्तीसगढ़ के बस्तर में कर्ज न चुका पाने के चलते बतौर सजा दो किसानों को जेल में डाल दिया गया है। इस मामले में मंत्री कवासी लखमा ने दिए जांच के निर्देश दिए हैं। दोनों किसान भटपाल गांव के हैं। सुखदास और तुलाराम नाम इन किसानों ने बिचौलियों पर रकम ऐंठने का आरोप लगाया है।
वहीं प्रशासन ने इसे प्रथम दृष्टया धोखाधड़ी का मामला मानते हुए कहा है कि मामले की जांच एसडीएम करेंगे। साथ ही कलेक्टर दोनों किसानों से जेल में जाकर मिलेंगे। उधर दोनों किसानों के परिजनों ने उन्हें जेल में डाल जाने के खिलाफ पैदल मार्च शुरु कर दिया है। किसानों के परिजनों ने जगदलपुर जाने के लिए भाटपाल गांव से पैदल मार्च शुरु कर दिया है।
यह भी पढ़ें : मध्यप्रदेश के पूर्व सीएम दिवंगत अर्जुन सिंह की पत्नी सरोज सिंह का निधन, शिवराज सिंह चौहान ने जताया शोक
बताया जा रहा है कि दोनों किसान के परिजन पैदल मार्च करते हुए परिजन जगदलपुर पहुंचकर कलेक्टर से मुलाकात करेंगे। जेल भेजे गए किसानों का आरोप है कि पांच महीना पहले बैंक से अपने ऋण प्रकरण की कापी मांगी गई थी ताकि वे न्यायालय की शरण में जा सकें। लेकिन बैंक प्रबंधन ने फाइल खोने की बात कह किसानों को लौटा दिया। ऐसे में किसानों का कहना है कि जब ऋण प्रकरण की फाइल खो गई है तो उन्हें किस आधार पर जेल भेजा गया।