BSNL 4G Launching Today: आज पीएम मोदी करेंगे BSNL 4G का शुभारम्भ.. मंत्री सिंधिया ने कहा ‘जो असंभव था, आज आत्मनिर्भर भारत की हकीकत है’
राष्ट्रीय महत्व के इस क्षण में, प्रधानमंत्री अब इस उपलब्धि का अनावरण करेंगे और इसे राष्ट्र को समर्पित करेंगे - जो न केवल एक तकनीकी उपलब्धि के पूरा होने का प्रतीक है, बल्कि एक ऐसे सपने के साकार होने का भी प्रतीक है जो कभी दूर की कौड़ी लगता था, अब पहुंच के भीतर आ गया है।
BSNL 4G Launching Today || Image- ibc24 news file
- पीएम मोदी ने किया BSNL 4G का उद्घाटन
- 98,000 टावर से शुरू हुई सेवा
- पूरी तरह स्वदेशी 4G स्टैक लागू
BSNL 4G Launching Today: नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज सरकारी टेलीकॉम कंपनी बीएसएनल के 4-जी से सेवा का उद्घाटन करेंगे। इस बारें में संचार एवं पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने आज एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी देश भर में लगभग 98,000 मोबाइल 4G टावरों के साथ स्वदेशी 4G नेटवर्क का लोकार्पण करेंगे। यह पूरी तरह से सॉफ्टवेयर-संचालित, क्लाउड-आधारित, भविष्य-तैयार डिज़ाइन वाला और 5G में आसानी से अपग्रेड करने योग्य है। उन्होंने कहा, “भारत का कोई भी हिस्सा इससे अछूता नहीं रहेगा।” उन्होंने आगे कहा कि ये 4G टावर पहले से ही देश भर में 2.2 करोड़ ग्राहकों को सेवा प्रदान कर रहे हैं।
दूरसंचार क्षेत्र में भारत के लिए यह एक नए युग का प्रतीक है। आज भारत दुनिया के शीर्ष दूरसंचार उपकरण निर्माताओं की श्रेणी में शामिल हो गया है। आत्मनिर्भर भारत के विजन के तहत, बीएसएनएल ने तेजस नेटवर्क द्वारा विकसित रेडियो एक्सेस नेटवर्क (आरएएन), सी-डॉट द्वारा निर्मित कोर नेटवर्क और टीसीएस द्वारा एकीकृत पूर्णतः स्वदेशी 4जी प्रौद्योगिकी स्टैक को लागू किया है।
BSNL 4G Launching Today: मंत्री सिंधिया ने बताया, “आम नागरिक के लिए इसका क्या मतलब है? इसका मतलब है कि बिहार के छात्रों को अब विश्वस्तरीय ऑनलाइन शिक्षा तक निर्बाध पहुँच प्राप्त होगी। पंजाब के किसानों को मंडी के भावों की रीयल-टाइम जानकारी मिलेगी। कश्मीर में तैनात सैनिक अपने प्रियजनों से जुड़े रहेंगे। पूर्वोत्तर के उद्यमियों को अंतर्राष्ट्रीय विशेषज्ञता और वित्तपोषण तक पहुँच प्राप्त होगी। यह 4G बुनियादी ढाँचा हर भारतीय के उत्थान के लिए सोच-समझकर डिज़ाइन किया गया है, चाहे उनकी भौगोलिक स्थिति या पृष्ठभूमि कुछ भी हो।”
भारत संचार निगम लिमिटेड (@BSNLCorporate) के 25 वर्ष पूरे होने के अवसर पर आज मीडिया को संबोधित किया।
इस खास मौके पर माननीय प्रधानमंत्री @narendramodi जी देशभर में पूरी तरह स्वदेशी 4G नेटवर्क की शुरुआत करने जा रहे हैं। करीब 1 लाख साइट्स को कवर करने वाला यह रोलआउट न सिर्फ 100% 4G… pic.twitter.com/VJKhkJcLwY
— Jyotiraditya M. Scindia (@JM_Scindia) September 26, 2025
उन्होंने आगे कहा, “हम डिजिटल भारत निधि (डीबीएन) के माध्यम से भारत के 100% 4जी डेडिकेटेड नेटवर्क का भी अनावरण कर रहे हैं, जहां 4जी परियोजना और डीबीएन की अन्य परियोजनाओं के हिस्से के रूप में करीब 29,000 गांवों को जोड़ा गया है, यह बीएसएनएल की रजत जयंती, राष्ट्र को 25 साल की सेवा से पहले हुआ है।”
दूरसंचार सचिव डॉ. नीरज मित्तल ने एक प्रेजेंटेशन दिया और भारत की उल्लेखनीय दूरसंचार विकास गाथा पर प्रकाश डाला। इसमें शुरुआती संशय से लेकर स्वदेशी 4G स्टैक के सफल विकास और देश भर में स्वदेशी 4G टावरों की स्थापना तक की यात्रा का उल्लेख किया गया है। डिजिटल भारत निधि ग्रामीण कनेक्टिविटी को बढ़ाने में एक प्रमुख भूमिका निभा रही है। उन्होंने इस बात पर ज़ोर दिया कि कैसे भारत के युवाओं, उद्योग सहयोग और निरंतर वास्तविक समय निगरानी ने देश को दूरसंचार के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाया है और इसे माननीय प्रधानमंत्री के डिजिटल भारत और विश्वगुरु के दृष्टिकोण के अनुरूप, दुनिया भर में प्रौद्योगिकी निर्यात करने की स्थिति में ला दिया है।
BSNL 4G Launching Today: भारत अब वैश्विक दूरसंचार के क्षेत्र में एक निर्णायक मोड़ पर खड़ा है। मात्र चार साल पहले जो असंभव लग रहा था, वह अब प्रधानमंत्री के आत्मनिर्भरता, डिजिटल समावेशन और वैश्विक नेतृत्व के दृष्टिकोण के प्रति केंद्रित क्रियान्वयन और अटूट प्रतिबद्धता के माध्यम से साकार हो गया है। यह दृष्टिकोण अब मूर्त रूप ले रहा है। आज, भारत न केवल 1.2 अरब लोगों तक उच्च-गुणवत्ता वाली दूरसंचार सेवाओं का विस्तार कर रहा है, बल्कि दूरसंचार उपकरण निर्माण के लिए एक वैश्विक केंद्र के रूप में भी अपनी पहचान बना रहा है। यह दोहरी उपलब्धि वैश्विक विकास, समता और डिजिटल समावेशन के वाहक के रूप में देश की भूमिका को पुष्ट करती है—जो वसुधैव कुटुम्बकम (विश्व एक परिवार है) का प्रतीक है।
राष्ट्रीय महत्व के इस क्षण में, प्रधानमंत्री अब इस उपलब्धि का अनावरण करेंगे और इसे राष्ट्र को समर्पित करेंगे – जो न केवल एक तकनीकी उपलब्धि के पूरा होने का प्रतीक है, बल्कि एक ऐसे सपने के साकार होने का भी प्रतीक है जो कभी दूर की कौड़ी लगता था, अब पहुंच के भीतर आ गया है।

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