कांग्रेस कार्य समिति ने मनरेगा के मुद्दे पर रणनीति को लेकर चर्चा की

कांग्रेस कार्य समिति ने मनरेगा के मुद्दे पर रणनीति को लेकर चर्चा की

कांग्रेस कार्य समिति ने मनरेगा के मुद्दे पर रणनीति को लेकर चर्चा की
Modified Date: December 27, 2025 / 11:18 am IST
Published Date: December 27, 2025 11:18 am IST

नयी दिल्ली, 27 दिसंबर (भाषा) कांग्रेस की शीर्ष नीति निर्धारक इकाई कार्य समिति ने महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी अधिनियम (मनरेगा) के विषय पर आगे की रणनीति तय करने के लिए शनिवार को मंथन किया।

पार्टी अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे की अध्यक्षता में आयोजित कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) बैठक में कांग्रेस संसदीय दल की प्रमुख सोनिया गांधी, लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी, महासचिव केसी वेणुगोपाल, जयराम रमेश , लोकसभा सदस्य शशि थरूर और कई अन्य वरिष्ठ नेता शामिल हुए।

कांग्रेस का आरोप है कि ‘विकसित भारत-जी राम जी अधिनियम’ के माध्यम से मनरेगा को खत्म किया गया है और योजना से महात्मा गांधी का नाम हटाया जाना राष्ट्रपिता का अपमान है।

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पार्टी की पूर्व अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बीते 20 दिसंबर को कहा था कि मोदी सरकार ने मनरेगा पर बुलडोजर चला दिया है और करोड़ों किसानों, श्रमिकों एवं भूमिहीन ग्रामीण वर्ग के गरीबों के हितों पर हमला किया है।

उन्होंने यह भी कहा था कि पार्टी नए ‘काले कानून’ के खिलाफ लड़ाई को प्रतिबद्ध है।

संसद से जी राम जी विधेयक पारित होने के बाद कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने आरोप लगाया था कि मनरेगा का सिर्फ नाम नहीं बदला जा रहा है, बल्कि इस योजना की ‘‘योजनाबद्ध हत्या’’ की जा रही है तथा विदेशी धरती पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा महात्मा गांधी की प्रतिमाओं पर फूल चढ़ाना सिर्फ दिखावा है।

कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा था कि जी राम जी अधिनियम प्रदेशों एवं गांवों के खिलाफ है तथा इसे वापस लेने के लिए सरकार को विवश करने के मकसद से एक राष्ट्रव्यापी मोर्चा बनाया जाएगा।

संसद ने विपक्ष के हंगामे के बीच बीते 18 दिसंबर को ‘विकसित भारत-जी राम जी विधेयक, 2025’ को मंजूरी थी।

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू की संतुति के बाद अब यह अधिनियम बन चुका है। यह 20 साल पुराने मनरेगा की जगह लेगा।

भाषा हक पवनेश

पवनेश


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