बलांगीर: Dhiraj Sahu Recovery पूरे देश में इन दिनों जहां एक ओर छत्तीसगढ़, मध्यप्रदेश और राजस्थान के नए मुख्यमंत्री को लेकर चर्चा जोरों पर है तो दूसरी ओर झारखंड से कांग्रेस सांसद धीरज साहू ‘कैश किंग’ के नाम से सुर्खियां बटोर रहे हैं। धीरज साहू के घर मिले नोटों के ढेर की गिनती हो चुकी है। बताया जा रहा है कि यहां करीब 351 करोड़ रुपए से अधिक नगदी मिले हैं। वहीं आज आयकर विभाग की टीम धीरज साहू के अन्य कई ठिकानों पर दबिश दे रही है साथ ही उनके लॉकर भी खंगाले जा रहे हैं।
Dhiraj Sahu Recovery मिली जानकारी के अनुसार बलांगीर के टिटलागढ़ के एक निजी बैंक में तीन लॉकरों से 40 सोने के बिस्कुट, हीरे जड़ित सोने के आभूषण और महत्वपूर्ण दस्तावेज बरामद किए हैं। इससे पहले आईटी अधिकारियों ने सोमवार को कहा, उनके घर से 8 करोड़ रुपए जब्त होने के तीन दिन बाद बलांगीर के टिटलागढ़ शहर में बैंक लॉकर पर छापेमारी की गई। साहू के बलदेव साहू एंड ग्रुप ऑफ कंपनीज के साथ घनिष्ठ व्यापारिक संबंध हैं, जो बौध डिस्टिलरीज प्राइवेट लिमिटेड की एक समूह कंपनी है और यह आईटी जांच के दायरे में है। एक लॉकर में महत्वपूर्ण दस्तावेजों से भरे दो ब्रीफकेस पाए गए जिनका आईटी अधिकारियों द्वारा विश्लेषण किया जा रहा है। यहां अन्य दो लॉकरों से 40 सोने के बिस्कुट और हीरे जड़ित सोने के आभूषण भी मिले हैं।
इस बीच, स्टेट एक्साइज डिपार्टमेंट ने राज्य में सभी ओएस दुकानों के निरीक्षण का आदेश दिया है ताकि यह पता लगाया जा सके कि 2023-24 उत्पाद शुल्क नीति के अनुसार सभी लाइसेंस शर्तों का पालन किया गया है या नहीं। राज्य उत्पाद शुल्क आयुक्त नरसिंघा भोला ने कहा कि दुकानों का निरीक्षण करना और यह सुनिश्चित करना कि दुकानों में लाइसेंस शर्तों का पालन किया जा रहा है, हमारा नियमित काम है। हालाँकि, हमने फील्ड अधिकारियों को एक सप्ताह में निरीक्षण पूरा करने के लिए कहा है। उन्होंने कहा कि राज्य के 22 जिलों में अधिकारी दुकानों के रजिस्ट्रेशन संबंधी जांच करेंगे।
उत्पाद शुल्क अधिकारियों ने कहा कि बलदेव साहू एंड ग्रुप ऑफ कंपनीज लिमिटेड के पास झारसुगुड़ा में 14 में से सात, रायगड़ा में 15 में से पांच और संबलपुर जिले में 32 में से चार दुकानें हैं। हालांकि, आईटी विभाग ने अभी तक उत्पाद शुल्क चोरी की किसी भी संभावना से इनकार नहीं किया है। उन्होंने कहा, “बोलांगीर से जो नकदी जब्त की गई है, वह सिर्फ शराब कारोबार से नहीं हो सकती है क्योंकि जो जब्ती की गई है वो असाधारण मुनाफा दिखाती है। अधिकारियों को शक है कि नकदी राजनीतिक उद्देश्यों के लिए हो सकती है।