Govt hikes sugarcane FRP: गन्ना किसानों के लिए अच्छी खबर, मोदी सरकार ने दी बड़ी राहत, चीनी सीजन 2025-26 के लिए तय किया ये मूल्य |

Govt hikes sugarcane FRP: गन्ना किसानों के लिए अच्छी खबर, मोदी सरकार ने दी बड़ी राहत, चीनी सीजन 2025-26 के लिए तय किया ये मूल्य

Govt hikes sugarcane FRP: गन्ना किसानों के लिए अच्छी खबर, मोदी सरकार ने दी बड़ी राहत, चीनी सीजन 2025-26 के लिए तय किया ये मूल्य

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Modified Date: April 30, 2025 / 05:13 PM IST
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Published Date: April 30, 2025 5:13 pm IST
HIGHLIGHTS
  • 2025-26 के चीनी सीजन के लिए गन्ने का एफआरपी बढ़ाकर 355 रुपये प्रति क्विंटल किया गया।
  • बढ़ोतरी 10.25% चीनी रिकवरी दर पर आधारित है।
  • एफआरपी एक न्यूनतम मूल्य है, जिससे कम पर कोई भी चीनी मिल गन्ना नहीं खरीद सकती।

नई दिल्ली: Govt hikes sugarcane FRP गन्ना किसानों के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है। केंद्र सरकार ने एफआरपी यानी उचित और लाभकारी मूल्य में बढ़ोतरी का ऐलान किया है। बुधवार को मोदी कैबिनेट की बैठक में यह अहम फैसला लिया गया, जिससे देशभर के गन्ना किसानों को सीधा फायदा होगा।

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Govt hikes sugarcane FRP कैबिनेट मीटिंग के बाद केंद्रीय मंत्री अश्विनी वैष्णव ने जानकारी देते हुए बताया कि 2025-26 के चीनी सीजन के लिए गन्ने का एफआरपी बढ़ाकर 355 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है। अभी यह 340 रुपये प्रति क्विंटल है। यह बढ़ोतरी 10.25% चीनी रिकवरी दर पर आधारित है।

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एफआरपी क्या होता है?

हर साल केंद्र सरकार कृषि लागत और मूल्य आयोग (CACP) की सिफारिशों के आधार पर गन्ने की एफआरपी तय करती है। एफआरपी वह न्यूनतम मूल्य है, जिससे कम पर कोई भी चीनी मिल गन्ना नहीं खरीद सकती। इसकी गणना सभी प्रमुख गन्ना उत्पादक राज्यों की गन्ना उत्पादन लागत को देखकर की जाती है।

 

गन्ने का एफआरपी बढ़ाकर कितने रुपये प्रति क्विंटल किया गया है?

एफआरपी बढ़ाकर 355 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है, जो पहले 340 रुपये प्रति क्विंटल था।

एफआरपी (Fair and Remunerative Price) का निर्धारण किस आधार पर होता है?

एफआरपी का निर्धारण कृषि लागत और मूल्य आयोग (CACP) की सिफारिशों और राज्यों की उत्पादन लागत के आधार पर किया जाता है।

एफआरपी बढ़ने से किसानों को क्या फायदा होगा?

एफआरपी बढ़ने से किसानों को अधिक पैसा मिलेगा, क्योंकि चीनी मिलें न्यूनतम कीमत से कम पर गन्ना नहीं खरीद सकतीं।