नयी दिल्ली, 28 दिसंबर (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने रविवार को कहा कि फ्रांस में मिली बारामूला के तीन बौद्ध स्तूपों की एक पुरानी, धुंधली तस्वीर से कश्मीर के लगभग दो हजार साल पुराने गौरवशाली अतीत का पता चलता है।
मोदी ने अपने मासिक कार्यक्रम ‘मन की बात’ में कहा कि जम्मू-कश्मीर में मानव निर्मित बड़ी संरचनाओं का पता चला है, एक ऐसा घटनाक्रम जो इसकी सांस्कृतिक और ऐतिहासिक विरासत के संबंध में ‘‘आपको गर्व से भर देगा।’’
उन्होंने कहा कि कई वर्षों से लोग बारामूला के जेहनपोरा में कुछ ऊंचे टीले देखते आ रहे थे।
मोदी ने कहा कि किसी को नहीं पता था कि ये साधारण से टीले क्या हैं, फिर एक दिन पुरातत्वविदों की नजर इन पर पड़ी। प्रधानमंत्री ने कहा कि पुरातत्वविदों ने इलाके का सावधानीपूर्वक निरीक्षण करना शुरू किया और ये टीले कुछ असामान्य प्रतीत हुए।
उन्होंने कहा कि इसके बाद इन टीलों का वैज्ञानिक अध्ययन शुरू किया गया, ड्रोन के जरिए ऊपर से तस्वीरें ली गईं और जमीन की ‘मैपिंग’ की गई।
मोदी ने कहा, ‘‘और फिर कुछ हैरान करने वाली बातें सामने आने लगीं। पता चला ये टीले प्राकृतिक नहीं हैं। ये इंसान द्वारा बनाई गई किसी बड़ी इमारत के अवशेष हैं।’’
उन्होंने कहा कि इसी दौरान एक और दिलचस्प कड़ी जुड़ी कि कश्मीर से हजारों किलोमीटर दूर, फ्रांस के एक संग्रहालय में एक पुराना, धुंधला सा चित्र मिला।
प्रधानमंत्री ने कहा, ‘‘बारामूला के उस चित्र में तीन बौद्ध स्तूप नजर आ रहे थे। यहीं से समय ने करवट ली और कश्मीर का एक गौरवशाली अतीत हमारे सामने आया। ये करीब दो हजार साल पुराना इतिहास है। कश्मीर के जेहनपोरा का ये बौद्ध परिसर हमें कश्मीर के अतीत और उसकी समृद्ध पहचान की याद दिलाता है।’’
भाषा शफीक रंजन
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